
नई दिल्ली। देश भर से हजारों की तादाद में किसानों ने कृषि ऋण माफ करने और फसलों के लिए उच्च दाम जैसी कई अन्य मांगों के साथ यहां रामलीला मैदान की ओर कूच कर रहे हैं। किसान निजामुद्दीन, सब्जी मंडी स्टेशन, आनंद विहार टर्मिनल और मजनू का टीला से मार्च निकाल रहे हैं।
स्वराज इंडिया के योगेंद्र यादव बिजवासन से रामलीला मैदान की ओर ‘चलो दिल्ली’ रैली का नेतृत्व कर रहे हैं। इस रैली में ओडिशा, हरियाणा, राजस्थान के किसान भी शामिल हुए हैं।
महाराष्ट्र के मिराज और बेंगलुरू से आ रही दो विशेष ट्रेनों में सवार किसान रात तक दिल्ली पहुंच सकते हैं।
किसान रात आठ बजे रामलीला मैदान में एकजुट होंगे।
मेधा पाटकर और दिग्गज पत्रकार पी. साईनाथ सहित सामाजिक कार्यकर्ताओं ने रैली को समर्थन दिया है और कहा कि देश में किसानों की हालत इस हद तक बदतर हो चुकी है, जैसी कि पहले कभी नहीं थी।
कई महिला किसान और दिल्ली विश्वविद्यालय के छात्र भी रैली में हिस्सा ले रहे हैं ताकि किसानों को राहत मुहैया कराने के लिए केंद्र पर दबाव डाला जा सके।
शुक्रवार को अखिल भारतीय किसान संघर्ष समन्वय समिति (एआईकेएससीसी) के बैनर तले वे ‘भाजपा सरकार की किसान विरोधी नीतियों’ के खिलाफ रामलीला मैदान से संसद मार्ग तक मार्च निकालेंगे और गिरफ्तारी देंगे।
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स्वाभिमानी शेतकारी संगठन के नेता और सांसद राजू शेट्टी ने 2017 में लोकसभा में दो निजी सदस्य विधेयक पेश किए थे ताकि स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशों के आधार पर कृषि उत्पादों के लिए उचित दाम की गारंटी और ऋण माफ हो सके। शेट्टी एआईकेएससीसी का भी हिस्सा हैं।
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एआईकेएससीसी की मांग है कि विधेयक पर संसद में चर्चा हो और उसे पारित किया जाए। संगठन ने कहा कि 21 राजनीतिक दलों ने विधेयक को अपना समर्थन दिया है और उनके प्रतिनिधि शुक्रवार को मार्च में शामिल होंगे।
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