राम मंदिर ध्वजारोहण के दिन अखिलेश का ‘मास्टर स्ट्रोक’ पोस्ट: केदारनाथ नहीं, इटावा के मंदिर में दर्शन का संकल्प

ठीक उसी दिन जब अयोध्या में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 191 फीट ऊंचे शिखर पर भगवा ध्वज फहरा रहे थे, सपा सुप्रीमो अखिलेश यादव ने एक्स पर एक ऐसा पोस्ट डाला जो सोशल मीडिया से लेकर सियासी गलियारों तक वायरल हो गया।

अखिलेश ने लिखा:

“पूर्णता ही पूर्णता की ओर ले जाती है।
ईश्वरीय प्रेरणा से इटावा में निर्माणाधीन ‘श्री केदारेश्वर महादेव मंदिर’ के पूर्ण होने पर अन्य मंदिरों के दर्शन का संकल्प भी पूर्ण करेंगे।
आस्था जीवन को सकारात्मकता और सद्भाव से भरनेवाली ऊर्जा का ही नाम है। दर्शन के लिए ईश्वरीय इच्छा ही मार्ग बनाती है, वही बुलाती है। सच तो ये है कि हम सब तो ईश्वर के बनाए मार्ग पर बस चलकर जाते हैं।
आस्थावान रहें, सकारात्मक रहें!”

इस पोस्ट के टाइमिंग ने हर तरफ हलचल मचा दी।

  • अखिलेश अब तक अयोध्या राम मंदिर के दर्शन के लिए नहीं गए हैं।
  • विवाह पंचमी पर राम मंदिर में ध्वजारोहण हो रहा है और ठीक उसी दिन वे “अन्य मंदिरों के दर्शन” का संकल्प लिख रहे हैं।
  • “केदारेश्वर महादेव मंदिर” का जिक्र करके उन्होंने सीधे-सीधे केदारनाथ से जोड़ने की कोशिश को भी बैलेंस कर दिया।

सियासी गलियारों में व्याख्या

  1. अखिलेश ने राम मंदिर जाने के सवाल को बिना नाम लिए टाल दिया।
  2. इटावा का अपना मंदिर पूरा होने पर “अन्य मंदिरों” में दर्शन का संकल्प लेकर उन्होंने हिंदू वोटर को संदेश दिया कि वे आस्थावान हैं, लेकिन “ईश्वरीय इच्छा” पर छोड़ा।
  3. “पूर्णता ही पूर्णता की ओर ले जाती है” वाक्य को कई लोग राम मंदिर पर तंज के रूप में भी देख रहे हैं।
  4. सॉफ्ट हिंदुत्व की लाइन को और मजबूत करते हुए 2027 के यूपी चुनाव से पहले हिंदू वोट बैंक में सेंध की तैयारी का संकेत।

सोशल मीडिया पर एक तरफ लोग लिख रहे हैं “बुलावा नहीं आया साहब” तो दूसरी तरफ सपा समर्थक इसे “क्लासिक अखिलेश मूव” बता रहे हैं।

LIVE TV