
रिपोर्ट- संजय आर्य
हरिद्वार। बुद्ध पूर्णिमा यानि भगवान विष्णु का धरती पर भगवान बुद्ध रूप में अवतरण का दिन। बुद्ध पूर्णिमा का स्नान तीर्थ नगरी हरिद्वार में कड़ी सुरक्षा व्यवस्था के बीच आधी रात से ही शुरू हो गया था। इस अवसर पर स्नान करने के लिए दूर दूर से श्रद्धालु धर्म नगरी में आये है। ऐसी मान्यता है कि बुद्ध पूर्णिमा पर गंगा स्नान करने, गंगा की पूजा अर्चना करने से असीम पुण्य का लाभ मिलता है। बुद्ध पूर्णिमा के मौके पर गंगा स्नान करने के लिए रात से ही श्रद्धालुओं का हर की पैड़ी पहुंचना शुरू हो गया था श्रद्धालुओं के यहाँ पहुचने ओर गंगा स्नान करने का सिलसिला निरंतर जारी है।
बुद्ध पूर्णिमा के दिन भगवान विष्णु ने धरती पर बुद्ध रूप मे अवतार लिया था और भगवान बुद्ध ने ज्ञान प्राप्त कर समाज को नयी दिशा प्रदान की थी। भगवान बुद्ध से ज्ञान को प्राप्त करने की कामना के लिये आज भगवान बुद्ध की आराधना की जाती है। सनातन धर्मं के अनुसार बुद्ध पूर्णिमा पर गंगा स्नान का विशेष महत्व है पूर्णिमा स्नान पर हरिद्वार आने वाली श्रद्धालुओं की भारी संख्या है बैसाख की पूर्णिमा को बुध पूर्णिमा के रूप में मनाया जाता है कल से जेठ का महीना शुरू हो जायेगा आज के दिन दान का विशेष महत्त्व है और माँ गंगा सबकी मनोकामना पूरी करती है।
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हिन्दुओं में इस अवसर पर गंगा स्नान करने का विशेष महत्व है ऐसा माना जाता है कि गंगा स्नान करने से सभी मनोकामनाएं पूरी होती है और पुण्य की प्राप्ति होती है हरिद्वार गंगा स्नान करने आये श्रद्धालुओं का मानना है कि गंगा स्नान का वैसे ही महत्व है मगर बुद्धपूर्णिमा पर स्नान करने पर असीम पुण्य का लाभ मिलता है
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यू तो वर्ष भर में कई पूर्णिमा आती है और हर पूर्णिमा का फल भी अलग अलग होता है हर सनातनी हर पूर्णिमा पर गंगा स्नान करने का प्रयास करता है मगर जो कोई बुद्धपूर्णिमा पर स्नान कर लेता है उसे सभी पूर्णिमा के स्नान का पुण्य लाभ मिल जाता है इसीलिए इस अवसर पर गंगा स्नान करने को लेकर लोगो में विशेष उत्साह है।