शाहीन बाग पर 23 मार्च को अगली सुनवाई,  रोड प्रोटेस्‍ट के लिए नहीं- सुप्रीम कोर्ट

उच्चतम न्यायालय ने कहा कि बार-बार उसे ये कहने की जरूरत नहीं है कि दिल्ली में शाहीन बाग के प्रदर्शनकारियों को विरोध प्रदर्शन का अधिकार है लेकिन वे सड़क को बाधित नहीं कर सकते.

शाहीन बाग

शीर्ष अदालत ने कहा कि उसने मौजूदा परिस्थिति में प्रदर्शनकारियों को समझाने के लिए वार्ताकारों की नियुक्ति के जरिए ढर्रे से हटकर समाधान निकालने का प्रयास किया.

न्यायमूर्ति संजय किशन कौल और न्यायमूर्ति के एम जोसफ की पीठ ने कहा कि अदालत ने ढर्रे से हटकर समाधान निकालने का प्रयास किया लेकिन पता नहीं इसमें कितनी कामयाबी मिली.

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पीठ ने कहा कि हम पूर्व की सुनवाई में पहले ही कह चुके हैं और बार-बार नहीं कह सकते कि प्रदर्शनकारियों के प्रदर्शन करने के अधिकार हैं लेकिन वे सड़क को अवरूद्ध नहीं कर सकते.

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