पुणे में प्याज का भाव हुआ कम, लोगों को मिली राहत

इन दिनों सब्जियों के दाम बढ़ते ही जा रहे थे। आम आदमा के लिए सब्जी खाना महंगा साबित होने लगा था। इसी बीच प्याज ने अमीरों का ही पेट भरने की ठानी थी। इसको देख केंद्र सरकार ने प्याज व आलू को भारी मात्रा में आयात करने का फैसला कर लिया था। पुणे में रहने वाले लोगों को इन बढ़ी कीमतों से कुछ राहत मिली है। बता दें कि पिछले हफ्ते यहां प्याज की कीमत 100 से 120 रुपये प्रति किलो ग्राम थी जो अब घटकर सिर्फ 80 से 100 रुपये प्रति किलो ग्राम के बीच ही रह गई है। अब प्याज ने आम आदमी की थाली में अपनी जगह बना ली है।

प्याज की कीमतों में तो कमी आ गई पर आलू के भाव जहां थे वहीं अटके हैं। आलू में किसी भी प्रकार का फर्क नही पड़ा है। बता दें कि यहां आलू 50 से 60 रुपये प्रति किलो ग्राम के बीच है। कीमतों में आई कमी के पीछे का कारण बाजार में मौजूद नया स्टॉक है। एक व्यापारी से बात करने पर पता चला कि ज्यादा तर प्याज मिस्र से आता है पर भारत के लोगों को वह कुछ खास नही लगता जिसके कारण प्याज की कमी हो जाती है जो की मंहगाई की शक्ल में सामने आता है।

कोरोना महामारी के दौरान सभी की जेब पर प्रभाव पड़ा है। यदि बात करें एक गा्रपक की तो उसने अपने विचारों को एएनआई से बताया कि लॉकडाउन के लागू होने से सभी आम जनता की आय में कमी आयी है और वहीं मंहगाई कम होने का नाम ही नही ले रही। साथ ही उसने कहा कि प्याज की कीमतों में कमी आनी चाहिए क्योंकि प्याज के बिना थाली अधूरी रहती है। यह हमारे दैनिक उपयोग में आता है।

इसी बीच एक और राहत की बात सामने आ रही है कि प्याज की बढ़ती कीमतों को रोकने के लिए अफगानिस्तान से कुल 54 ट्रकों को रवाना किया गया है जिसमें से 20 ट्रकों को अटारी बार्डर पर अनलोडिंग ना होने के कारण वापस भेज दिया गया है। उनमें से अब सिर्फ 26 ट्रक ही भारत आ सकेगें।

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