नागरिकता कानून विरोधः पीड़ित परिवार से मिलने जा रहे जयंत चौधरी को प्रशासन ने रोका

मुजफ्फरनगर: मुजफ्फरनगर में नागरिकता संशोधन कानून को लेकर हुए बवाल के बाद आज राष्ट्रीय लोकदल के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष जयंत चौधरी मुजफ्फरनगर हिंसा में मारे गए खालापार निवासी नूरा के परिवार से मिलने के लिए आ रहे थे।

जैसे ही पुलिस प्रशासन को उनके आने की भनक लगी तो पुलिस प्रशासन ने खतौली थाना क्षेत्र के चीतल ग्रांड नहर पटरी पर जयंत चौधरी के साथ सैकड़ों राष्ट्रीय लोकदल के कार्यकर्ताओं को रोक दिया, जिसके बाद गुस्साए कार्यकर्ताओं ने सड़क पर बैठकर घंटों विरोध प्रदर्शन किया और मुजफ्फरनगर जाने कि पुलिस और प्रशासन से मांग करने लगा, लेकिन पुलिस ने 144 का हवाला देकर जयंत चौधरी को रोके रखा।

जिसके बाद जयंत चौधरी ने पुलिस प्रशासन को कहा मेरे हौसले बुलंद है और आज आपने मुझे यहां रोक लिया लेकिन में कल फिर मुजफ्फरनगर जरूर आऊंगा, जयंत चौधरी ने सरकार पर तंज कसते हुए कहा सरकार हिंदू मुस्लिम की राजनीति करती है और पूरे प्रदेश में अब तक एक भी एफआईआर पुलिस के खिलाफ दर्ज नहीं हुई और ना ही प्रदेश में हुए बवाल की जांच हुई, वही जयंत चौधरी ने अपने बेतुके शब्दों का इस्तेमाल भी किया और कहा प्रदेश में हुए नुकसान की भरपाई क्या योगी जी के गोरखनाथ पीठ से वसूली जाएगी।

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नोट आपको बता दें मुजफ्फरनगर में पिछले 8 दिनों से इंटरनेट सेवाएं बंद है, क्योंकि मुजफ्फरनगर उत्तर प्रदेश में अति संवेदनशील इलाकों में 2013 के दंगों के बाद सबसे ऊपर बना जाता है, यही कारण है मुजफ्फरनगर के प्रमुख चौराहों पर अभी भी RAF फोर्स और दंगा नियंत्रण वहान व भारी पुलिस फोर्स अलर्ट है, हालांकि कल राहुल गांधी और प्रियंका भी मुजफ्फरनगर आने वाले थे लेकिन पुलिस ने 144 का हवाला देकर उन्हें भी वापस भेज दिया था।

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