
लखनऊ। योगी सरकार ने कीसानों की समस्याओं को देखते हुए कई अहम फैसलें लिए। सीएम योगी ने मीडिया से बात करते हुए जानकरी दी कि अक्टूबर के बाद से प्रदेश में स्थापित 3000 धान क्रय केंद्रों के माध्यम से 11.66 लाख मीट्रिक टन धान किसानों से खरीदा गया और आरटीजीएस के माध्यम ने 2043 करोड़ रुपये का भुगतान सीधे उनके खाते में किया गया।
किसानों के हितों को देखते हुए सरकार ने हाइब्रिड धान से चावल की रिकवरी 67 प्रतिशत से घटाकर 63 प्रतिशत कर दी है। दरअसल, हाइब्रिड धान से चावल की रिकवरी मानक से कम होने पर किसानों को बिक्री करने में खासी मुश्किल आती थी जिसे देखते हुए सरकार ने ये फैसला लिया है।
मां संग स्कूल जा रही बच्ची की दुर्घटना में मौत, बवाल
धान की कुटाई में चावल मिलर्स को 20 रुपये प्रति कुंतल प्रोत्साहन राशि देय थी यदि चावल मिलर्स 30 दिन के अंदर देय चावल भारतीय खाद्य निगम के डिपो पर उतार देता था।
गुलाबी शहर के बाद देख लीजिए गूलाबी नदी, एक बार जरूर करें सैर
मिलर्स को प्रोत्साहन देने के लिए इस अवधि को बढ़ाकर 45 दिन कर दिया गया है। ताकि किसानों कोई परेशानी न हो या कम से कम हो।