आजादी के बाद पहली बार दुश्मनी भुलाकर एक साथ कदम मिलाएगी भारत-पाक सेना

इस्लामाबाद। भारतीय और पाकिस्तानी सैनिकों के बीच आगामी संयुक्त सैन्य अभ्यास नई दिल्ली-इस्लामाबाद के रिश्तों की प्रगति में एक आदर्श करार है। पाकिस्तान के एक प्रमुख अखबार ने मंगलवार को यह बात कही। द नेशन ने अपने संपादकीय में कहा कि यह अभ्यास शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) की रूपरेखा के तहत किया जाएगा।

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संयुक्त सैन्य अभ्यास

सन् 1947 में आजादी मिलने के बाद ऐसा पहली दफा होगा जब दोनों देशों की सेनाएं साथ मिलकर संयुक्त अभ्यास करेंगी।

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संपादकीय में कहा गया, “यह नई पहल शिकायतों को कम करने के लिए दोनों देशों द्वारा एक स्वतंत्र संज्ञानात्मक पहल का हिस्सा ही नहीं, बल्कि असल में यह एससीओ के संरक्षण के तहत होने वाला अभ्यास है।”

संपादकीय में नियंत्रण रेखा पर कथित संघर्षविराम उल्लंघन के कारण दोनों देशों के बीच शत्रुता को समाप्त करने के लिए इस पहल का स्वागत किया है।

संपादकीय में कहा गया, “सीमा मामलों के प्रबंधन के लिए सूत्र पर नजर रखने के साथ अभ्यास का मकसद विश्वास और आम समझ का निर्माण करना है, ताकि दो कट्टरपंथी पड़ोसी इस क्षेत्र में अपने कमजोर संबंधों को बेहतर बनाने के लिए आगे बढ़ाने के लिए प्रयास करें।”

संपादकीय में कहा गया कि इस वक्त जब दो कोरियाई देश प्रायद्वीप को परमाणु मुक्त बनाने के लिए सहमत हो गए हैं तो वास्तव में पाकिस्तान-भारत के साथ आने का विचार सपने की बात नहीं हो सकता।

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