लालू के लिए बीमारी बनी काल, सजा के साथ जिंदगी के दिन हो रहे कम

नई दिल्ली। जेल पहुंचने के बाद से ही लालू प्रसाद यादव की जिंदगी मुसीबतों से घिर गई। वहीं इस मुश्किल घड़ी में उनका पूरा परिवार भी हाशिये पर है। हालांकि लालू के बेटे तेजस्वी यादव हाल ही के बिहार उपचुनावों में अपनी सीट हासिल कर पाने में कामियाब रहे। फिर भी उनका परिवार गम के साए में है। पहले लालू को जेल होने के बाद ही उनकी बहन गंगोत्री देवी की हार्ट अटैक से मौत हो गई। उसके बाद से ही लालू का स्वास्थ्य खराब होता चला गया। ताजा मामले में उनकी तबियत इतनी बिगड़ गई कि उन्हें हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया। हालत गंभीर बताई जा रही है।

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लालू प्रसाद यादव

ध्यान रहे लालू को सजा सुनाए जाने के वक्त वकील ने अपना पक्ष रखते हुए कहा था कि लालू यादव की उम्र 70 के करीब है, उन्हें किडनी की बीमारी है, हार्ट का ऑपरेशन हुआ है, शुगर से ग्रसित हैं, जेल में रहकर अच्छे से इलाज नहीं हो पाएगा इसलिए कम से कम सजा दी जाए। लेकिन कोर्ट ने उनके इस पक्ष को दरकिनार कर उन्हें जेल भेज दिया था।

खबरों के मुताबिक़ राजद सुप्रीमो की तबीयत खराब हो जाने की वजह से उन्हें रांची के आरआईएमएस (RIMS) हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया है। बता दें कि इस दौरान लालू यादव के छोटे बेटे तेजस्वी यादव भी उनके साथ मौजूद हैं।

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बता दें अदालत द्वारा चारा घोटाले के तीन मामलों में राजद प्रमुख लालू प्रसाद को और दो मामलों में जगन्नाथ मिश्रा को भी दोषी ठहराया जा चुका है।

इस मामले में लालू प्रसाद और जगन्नाथ मिश्रा के अलावा अन्य 29 लोगों के नाम भी शामिल किए गए हैं। इनमें पूर्व आईएएस अधिकारी और पशुपालन अधिकारी भी शामिल हैं।

वहीं शनिवार (17 मार्च) को रांची की विशेष सीबीआई अदालत में दुमका कोषागार मामले की सुनावाई टाल दी गई। कोर्ट ने अब इस मामले में लालू यादव को 19 मार्च को पेश होने को कहा है।

गौरतलब है कि बिहार के दो पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव और जगन्नाथ मिश्रा के खिलाफ चौथे चारा घोटाले से जुड़े दुमका कोषागार से कथित 3।13 करोड़ रुपये की अवैध निकासी के मामले में सीबीआई की विशेष अदालत आज अपना फैसला सुनाने वाली थी, लेकिन अब इस मामले की सुनवाई 19 मार्च को होगी।

इससे पहले अदालत ने गुरुवार को लालू प्रसाद यादव के वकील की दाखिल की गई उस याचिका पर अपना फैसला टाल दिया था, जिसमें लेखाकार जनरल (1990 के दशक) के तीन अधिकारियों को मामले में पार्टी बनाए जाने की मांग की गई थी। सीबीआई की विशेष अदालत के न्यायाधीश शिवपाल सिंह ने शुक्रवार को उक्त याचिका स्वीकार कर ली थी।

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