अभी-अभी : राजग सहयोगी की एक हरकत ने बढ़ाई मोदी-शाह की मुसीबत, कोविंद के नाम पर खेला बड़ा दांव

राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधननई दिल्ली। सत्तारूढ़ राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) ने जब से राष्ट्रपति पद के लिए बिहार के राज्यपाल रामनाथ कोविंद का नाम आगे किया है उसके बाद से ही तमाम राजनीतिक दलों ने अपनी प्रतिक्रियाएं देना शुरू कर दी हैं। मोदी सरकार के इस फैसले पर जहां विरोधी दल भी जमकर खिंचाई करने में लगे हैं वहीं राजग सहयोगी लोकजनशक्ति पार्टी के सुप्रीमो रामविलास पासवान ने भी एक बयान देकर राजनीतिक गलियारे में खलबली मचा दी है।

लोजपा प्रमुख रामविलास पासवान ने कहा है कि राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार रामनाथ कोविंद के नाम का विरोध करने वाले सभी लोग दलित विरोधी माने जाएंगे। वहीं रामनाथ कोविंद को राष्ट्रपति उम्मीदवार घोषित करते हुए भारतीय जनता पार्टी अध्यक्ष अमित शाह ने सभी दलों से दलगत राजनीति से ऊपर उठने की अपील की है। अमित शाह ने बताया कि इस बारे में पीएम मोदी सोनिया गांधी को अवगत करा चुके हैं। राष्ट्रपति उम्मीदवार का नाम तय करने से पहले ही सभी दलों से चर्चा हुई थी।

बता दें कि भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने बिहार के राज्यपाल रामनाथ कोविंद को राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) की ओर से राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार बनाया है। भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने सोमवार सुबह ही अशोक रोड स्थित पार्टी मुख्यालय में कोविंद के नाम का ऐलान किया था।

कोविंद वर्ष 1991 में भारतीय जनता पार्टी में शामिल हुए थे। उसके बाद वर्ष 1994 में उत्तर प्रदेश राज्य से राज्य सभा के लिए निर्वाचित हुए थे। वर्ष 2000 में पुनः उत्तरप्रदेश राज्य से राज्य सभा के लिए निर्वाचित हुए। इस प्रकार कोविन्द लगातार 12 वर्ष तक राज्य सभा के सदस्य रहे। वह भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता भी रह चुके हैं।

LIVE TV