भारत अपनी संप्रभुता की रक्षा के लिए संकल्पबद्ध : रामनाथ कोविंद

गुवाहाटी। राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने गुरुवार को कहा कि भारत शांति के लिए प्रतिबद्ध है, साथ ही वह अपनी संप्रभुता की रक्षा के लिए जो भी बन पड़ेगा, करेगा। कोविंद ने कहा, “जब भी इसकी जरूरत पड़ी है, हमारे वर्दीधारी बहादुर पुरुषों और महिलाओं ने सुरक्षा चुनौतियों का बलपूर्वक और प्रभावी ढंग से सामना किया है। हमारे सशस्त्र बल जो हमारे वायु योद्धाओं के रूप में हमारे सामने खड़े हैं, हमारे राष्ट्र की रक्षा करने के लिए हमारे दृढ़ संकल्प को दर्शाते हैं।”

रामनाथ कोविंद

कोविंद शहर के अजारा इलाके स्थित भारतीय वायु सेना अड्डे में बोल रहे थे। उन्होंने यहां 118 हेलीकॉप्टर यूनिट को प्रेसीडेंट्स स्टैंडर्ड और एयर डिफेंस कॉलेज को प्रेसीडेंट्स कलर्स से नवाजा। हाल ही में वियतनाम और ऑस्ट्रेलिया दौरे से लौटे राष्ट्रपति ने कहा कि विश्व भारत की ओर अलग नजरिए से देख रहा है।

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उन्होंने कहा, “मैं हाल ही में वियतनाम और ऑस्ट्रेलिया दौरे से लौटा हूं। मैंने रक्षा, अंतर्राष्ट्रीय सुरक्षा, व्यापार और संस्कृति जैसे पारस्परिक हितों के विभिन्न क्षेत्रों पर इन दोनों देशों के नेताओं के साथ चर्चा की। इस विचार-विमर्श से एक चीज स्पष्ट हो गई है कि विश्व भारत को एक अलग नजरिए से देख रहा है।”

राष्ट्रपति ने कहा, “भारत को एक प्रख्यात शक्ति के रूप में देखा जा रहा है, जो अंतर्राष्ट्रीय सुरक्षा, व्यापार व वाणिज्य के संबंध में वैश्विक परिप्रेक्ष्य को आकार देने में एक अहम भूमिका निभा सकता है। और यह सब हमारे सशस्त्र बलों की क्षमताओं व बहादुरी से हुआ है।”

118 हेलीकॉप्टर इकाई या ‘चैलेंजर्स’ की स्थापना चाबुआ में 22 नवंबर 1971 को हुई थी और शुरुआत में यह एमआई-8 का प्रयोग करती थी।कोविंद ने कहा, “चाहे यहां से एमआई-8 उड़े हों या आज एमआई-17 उड़ रहे हों, इकाई का उल्लेखनीय परिचालन रिकॉर्ड रहा है।”

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एयर डिफेंस कॉलेज ने बीते 60 वर्षो में महत्वपूर्ण उपलब्धि हासिल की है। कॉलेज ने न केवल वायु सेना के अधिकारियों को पेशेवर प्रशिक्षण मुहैया कराया है बल्कि मित्र देशों को भी अपनी सेवाएं दी हैं।

राष्ट्रपति ने कहा, “उनके अभूतपूर्व प्रदर्शन को स्वीकारते हुए मैं 118 हेलीकॉप्टर यूनिट को और एयर डिफेंस कॉलेज को पुरस्कृत कर प्रसन्न हूं। मैं इकाई के पिछले व वर्तमान कर्मियों और परिवारों की राष्ट्र के प्रति उनकी श्रद्धा व सेवा की प्रशंसा करता हूं।”

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उन्होंने कहा, “भारतीय वायुसेना को उसके कौशल व दक्षता के लिए जाना जाता है। हमारी सीमाओं व वायु सीमा की रक्षा के प्रति आपकी निरंतर तत्परता से आप हमारे प्रत्येक नागरिक को सुरक्षित महसूस कराते हैं। भारत को आप पर गर्व है।”

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