
बिहार विधानसभा चुनाव 2025 से पहले सत्ताधारी NDA गठबंधन में सीट बंटवारे को लेकर आखिरी मौके पर गतिरोध पैदा हो गया है। सोमवार को दोपहर 4 बजे निर्धारित संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस रद्द हो गई, जिसमें BJP और JD(U) के बीच सीट बंटवारे की घोषणा होनी थी। सूत्रों के अनुसार, दोनों पार्टियां कुल 101-101 सीटों पर सहमत तो हो चुकी हैं, लेकिन विशिष्ट विधानसभाओं पर मतभेद बरकरार है, जिससे अनिश्चितता बढ़ गई है।
मंडे को बिहार उपमुख्यमंत्री सम्राट चौधरी और राज्य BJP प्रमुख दिलीप जायसवाल ने JD(U) सांसद संजय झा के आवास पर पहुंचकर आखिरी मतभेद दूर करने की कोशिश की, लेकिन कोई सहमति नहीं बनी। प्रेस कॉन्फ्रेंस रद्द होने के तुरंत बाद BJP के वरिष्ठ नेता धर्मेंद्र प्रधान, नित्यानंद राय और बिहार परिवहन मंत्री नितिन नवीन चौधरी के साथ झा के घर पहुंचे। ये नेता करीब रात 9:30 बजे वहां से रवाना हुए। इंडिया टुडे टीवी को मिली जानकारी के मुताबिक, JD(U) ने बिना औपचारिक सौदे के ही अपने कुछ उम्मीदवारों को टिकट देने शुरू कर दिए हैं।
गतिरोध के बीच बिहार मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के आवास पर हुई बैठक में JD(U) नेताओं को आश्वासन दिया गया कि पहले चरण के चुनाव (6 नवंबर को 121 सीटों पर) में उनके कुछ उम्मीदवारों को टिकट मिलेंगे। NDA के सहयोगी दलों को सीटें देने के लिए BJP और JD(U) को कुछ विधानसभाओं का त्याग करना पड़ सकता है, जिस पर चर्चा चल रही है। 12 अक्टूबर को NDA ने सीट बंटवारे की घोषणा की थी, जिसमें BJP और JD(U) को 101-101, LJP (राम विलास) को 29, RLM और HAM को 6-6 सीटें मिली थीं। लेकिन अब कुछ सीटों पर छोटे सहयोगियों के लिए समायोजन को लेकर हिचकिचाहट बनी हुई है।
2020 के चुनावों में JD(U) ने 115 और BJP ने 110 सीटों पर लड़ा था, जबकि इस बार बराबरी का फॉर्मूला अपनाया गया है। नामांकन की अंतिम तारीख नजदीक आ रही है (पहले चरण के लिए 17 अक्टूबर), और यह गतिरोध NDA की एकजुटता पर सवाल खड़े कर रहा है। क्या मंगलवार तक कोई ब्रेकथ्रू मिलेगा, या छोटे दलों की मांगें गठबंधन को और चुनौती देंगी—यह बिहार की सियासत पर नजरें टिकाए हुए है।