इस टेलीफोन बूथ से आप लगा सकते हैं अपने पूर्वजों को फोन, हजारों लोग कर चुके हैं बात…
मौत जिंदगी की सबसे बड़ी सच्चाई है जिससे मुंह मोड़ना संभव नहीं है। दुनिया में पैदा हुए हर एक इंसान को एक निश्चित समयावधि के बाद यहां से जाना ही है।
यह एक कड़वी सच्चाई है जिसे हमें अपनाना ही पड़ता है। अपने प्रियजनों को हम हमेशा अपने पास रखना चाहते हैं, लेकिन वक्त आने पर उन्हें इस संसार को छोड़कर जाना ही पड़ता है।
मृत्यु के बाद हम लाख चाहकर भी न तो उस इंसान से मिल सकते हैं और न ही उनसे बात कर सकते हैं। हमें ऐसा लगता कि काश कुछ ऐसा होता जिसकी मदद से हम अपनी बात उन तक पहुंचा सकते।
आज हम आपको उस टेलीफोन बूथ के बारे में बताने जा रहे हैं जहां लोग अपने मृत परिजनों से बात करते हैं। जी हां, सुनने में भले ही यह कुछ अटपटा सा लगे, लेकिन अब तक यहां दस हजार से भी ज्यादा लोग आ चुके हैं।
अब इसके पीछे कोई न कोई वजह तो जरुर होगी।
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यह टेलीफोन बूथ हमारे देश में नहीं बल्कि जापान के पूर्वी भाग में ओत्सुची शहर में प्रशांत महासागर के किनारे स्थित है। इतारु सासाकी नामक एक शख्स ने इसे बनवाया था। एक कब्रिस्तान में बने इस बूथ की देखभाल भी वही करता है।
इस टेलीफोन बूथ के बनने के बाद यहां हर रोज एक बच्चा अपने मृत दादाजी से बात करने आता था।
साल 2015 में सुनामी में इस बच्चे के दादाजी की मौत हो गई थी। बच्चे का दावा है कि वह इस टेलीफोन के माध्यम से अपने दादाजी से बात कर सकता है। यह बात धीरे-धीरे आसपास के इलाके में फैलने लगी।
इतारु सासाकी भी इस बूथ से अपने भाई से बात करते हैं। उनके भाई की भी मौत सुनामी में हो गई थी। भाई की मौत के बाद इतारु टूट चुके थे और उन्ही की याद में इतारु ने इस टेलिफोन बूथ को लगवाया।
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इतारु को जब भी अपने भाई की याद आती वो इस बूथ में आकर फोन पर फुसफुसाते है।
आपको जानकर हैरानी होगी कि अब तक बीते तीन सालों में दस हजार से भी ज्यादा लोग इस बूथ पर आ चुके हैं और अपने मृत परिजनों से बात करने का दावा करते हैं।
अब ये लोगों का भ्रम है या वाकई में इसमें कोई सच्चाई है इस बारे में तो बताना मुश्किल है, लेकिन दुनिया में आज भी ऐसी कई सारी चीजें हैं जो इंसानी समझ से बिल्कुल परे है।