लखनऊ। उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में छेड़खानी का एक अलग मामला सामने आया है। आम तौंंर पर लड़कियों से छेड़खानी का आरोप कम उम्र के लड़को पर लगता रहा है,लेकिन इस बार एक 70 वर्षीय बुजुर्ग पूर्व प्रोफेसर को इस मामलें में पुलिस ने गिरफ्तार किया है।
मामला शुक्रवार सुबह उस वक्त सामने आया,जब चलते ऑटो से कूदकर हजरतगंज चौराहे पर बने ट्रैफिक बूथ में पहुंची एक छात्रा ने अवध विश्वविद्यालय में हिंदी विभाग के पूर्व प्रफेसर ओम प्रकाश दुबे पर छेड़छाड़ का आरोप लगाया।
पुलिस ने छात्रा की तहरीर पर छेड़छाड़ और एससी/एसटी एक्ट के तहत रिपोर्ट दर्ज कर ली है। बीए की छात्रा के अनुसार, शुक्रवार सुबह करीब 11 बजे वह बर्लिंग्टन चौराहे से डालीबाग जा रही थी। वह जिस ऑटो में बैठी थी, ओम प्रकाश भी उसी में बैठ गए।
छात्रा का आरोप है कि उसके पास बैठी महिला को किनारे कर ओम प्रकाश उसके पास आ गए। ऑटो चलते ही उन्होंने छेड़छाड़ शुरू कर दी। बगल में बैठी महिला ने विरोध किया तो उसे डपट कर चुप करवा दिया। इससे छात्रा भी डर गई और चुपचाप बैठी रही। हजरतगंज चौराहे पर उसने ट्रैफिक पुलिसकर्मियों को देखा तो ऑटो से कूदकर रोते हुए ट्रैफिक बूथ में घुस गई।
वहां मौजूद एएसपी ट्रैफिक हबीबुल हसन और सीओ को उसने प्रफेसर की हरकतों के बारे में बताया। इस पर ट्रैफिक पुलिस ने दौड़ाकर ऑटो रोका और ओमप्रकाश को पकड़ लिया।
अपनी शिष्या बताकर किया बचने का प्रयास
70 साल के ओम प्रकाश की करतूतों की जानकारी होते ही भीड़ जुट गई। कुछ लोग उन्हें मारने भी दौड़े। इस पर एएसपी ट्रैफिक ने लोगों को रोका और पुलिस को सूचना दी। पुलिस को देख प्रफेसर ने पहले छात्रा को अपनी शिष्या बताकर बचने का प्रयास किया।
नही बनी बात तो दी,बेटी के मंत्री होने की धौंस
फिर बताया कि उनकी बेटी महिला आयोग की पूर्व अध्यक्ष और वर्तमान में दर्जा प्राप्त राज्य मंत्री हैं। प्रफेसर ने अपनी बेटी (राज्य मंत्री) का नाम बताकर पुलिसवालों को प्रभाव में लेने का प्रयास किया, लेकिन पुलिस उन्हें हजरतगंज थाने ले गई। थोड़ी देर बाद पैरवी में राज्य मंत्री के साथ कई और राजनैतिक हस्तियों के फोन आए। उधर, छात्रा भी अपने पिता के साथ कोतवाली पहुंची। हजरतगंज थाने में छात्रा की तहरीर पर आरोपित के खिलाफ दलित छात्रा से छेड़छाड़ और एससी/एसटी एक्ट के तहत रिपोर्ट दर्ज कर गिरफ्तार कर लिया गया है।