अयोध्या में किशोरी के अपहरण मामले में पुलिस की भूमिका संदिग्ध, आरोपी को बचाने का प्रयास

रिपोर्ट: आशुतोष पाठक/अयोध्या

अयोध्या जनपद में किशोरी की अगवा व बरामदगी मामले में पुलिस की भारी लापरवाही सामने आई है। किशोरी को बरामद करने के बाद पुलिस ने केवल अगवा करने का मुकदमा दर्ज किया जब स्थानीय लोगों ने बवाल किया तब पुलिस ने मेडिकल कराकर दुष्कर्म की धारा लगाते हुए आरोपी के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया।

अयोध्या

आरोपी भाजपा नेता के गनर का पुत्र बताया जाता है जिसको लेकर जिले में सियासत भी शुरू हो गई है। जब पुलिस रात 9:00 बजे जिला अस्पताल में पीड़िता किशोरी की मेडिकल कराने पहुंची तो दरोगा ने पीड़िता किशोरी के साथ अश्लील शब्दों का इस्तेमाल किया जिसके बाद स्थानीय लोगों ने दरोगा की पिटाई कर दी और दरोगा को मौके से भागना पड़ा जिसके बाद पूरे जिले की पुलिस को जिला अस्पताल में बुला लिया गया।

पूरा मामला यह है कि कैंट थाना क्षेत्र के निर्मली कुंड की रहने वाली किशोरी 2 दिन पूर्व अगवा कर ली गई थी जिस पर जिले के ही एक भाजपा नेता के गनर के पुत्र पर अगवा करने का आरोप लगा।

पुलिस ने कार्रवाई करते हुए पीड़िता और अगवा करने वाले युवक को बरामद कर लिया लेकिन मुकदमा केवल अगवा करने का लिखा जिसके बाद पुलिस पूरे दिन पीड़ित का मेडिकल नहीं कराया।

रात 9:00 बजे जब पीड़िता को लेकर पुलिस जिला तक पहुंची तो कैंट थाना क्षेत्र के एसएसआई अवनीश चौहान ने पीड़िता के बारे में अभद्र भाषा का इस्तेमाल किया जिसके बाद आक्रोशित हुई स्थानीय जनता ने दरोगा की पिटाई कर दी जिसके बाद दरोगा को भागना पड़ा। आनन-फानन में वायरलेस के बाद पूरे जिले की फोर्स जिला अस्पताल पहुंच गई।

यही नहीं सत्ताधारी नेता और विपक्ष के नेता भी जिला अस्पताल पहुंच गए और फिर शुरू हो गई सियासत। सबसे बड़ा आरोप लगा पुलिस पर की मामले में पुलिस ने पीड़िता का मेडिकल कराने में देरी की और जब मामला बिगड़ता देखा तो आनन-फानन में दुष्कर्म और अगवा करने का मुकदमा दर्ज कर लिया लेकिन अब विपक्ष को इस बात का मुद्दा मिल गया की स्थानीय सत्ताधारी नेता के दबाव में आरोपी को बचाया गया।

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जब मामला बिगड़ता गया तब पुलिस ने आनन-फानन में केस दर्ज कर आरोपी दरोगा के खिलाफ भी कार्रवाई करने का आश्वासन दिया।सबसे बड़ी दबंगई उस समझ देखी गई जब सपा नेता व पूर्व राज्यमंत्री लेबर रूम में जबरदस्ती घुस गए।

उस लेबर रूम में पीड़िता का मेडिकल हो रहा था और उसके साथ ही अन्य महिलाओं की डिलीवरी भी हो रही थी इसके बाद पूर्व मंत्री को डिलीवरी रूम से बाहर निकाला गया।

 

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