हजरतगंज चौराहे का नाम बदलनें पर नवाब जाफर मीर ने जताई नाराजगी

रिपोर्ट- अर्सलान समदी

लखनऊ। नवाबों के शहर लखनऊ का दिल कहे जाने वाले हज़रतगंज चौराहे का नाम बदले जाने पर सियासत तेज़ हो चली है लेकिन नवाब जाफर मीर अब्दुल्लाह का बयान सामने आने से अब कही ना कही नाराज़गी भी साफ देखने को मिल रही है।

नवाब

लखनऊ नगर निगम के फैसले के बाद से जहाँ सियासी गलियारों से लेकर सोशल मीडिया पर लोग अपनी अलग अलग प्रतिक्रिया दे रहे है तो वही अब नवाबीन ए अवध ने भी इस फैसले पर ऐतराज़ जताया है। दरअसल 176 साल पहले इस चौराहे को नवाब अमजद अली खां द्वारा बसाया गया था जिनको हज़रत कहा जाता रहा है तब ही से इसका नाम हज़रतगंज पड़ा लेकिन अब पूर्व प्रधनमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के नाम पर इसको अटल चौक करने की बात सामने आयी है।

जिसपर नवाब जाफर मीर अब्दुलाह का कहना है कि आज कल नाम बदलने का दस्तूर चला है, नाम बदलने का काम विकास नही है। अटल जी की ज़िंदगी में उनकी इज़्ज़त की नही गयी और 10 साल अटल जी को किसी ने पूछा नही अब ऐतिहासिक चीज़ों के नाम बदल कर उनके नाम पर किये जा रहे जो सही नही है। अटल जी के नाम पर नए इदारे बनाये जाए किसी और कि विरासत ना खत्म की जाए, इसके साथ ही उन्होंने एक सलह दी कि अटल जी का नाम अगर हजरतगंज से जोड़ना ही है तो हज़रत अटल चौक कर दिया जाए तो भी ठीक रहेगा।

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तो वही नवाब मसूद अब्दुल्लाह कहते है कि 2019 का चुनाव नज़दीक है और इसमें सियासत के तहत अटल जी का नाम भुनाने की कोशिश की जा रही है हालांकि वो इस बात का इकरार भी करते है कि अखिलेश सरकार में लखनऊ ज़ू का नाम बदल कर नवाब वाजिद अली शाह किया गया था उसके बाद से नवाबों के नाम पर कोई भी काम सरकार द्वारा नही किया गया और अब विरासत के साथ छेड़छाड़ सही नहीं है।

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