मोदी ने फोन बैंकिंग को लेकर कसा राहुल पर तंज
नई दिल्ली। कांग्रेस पार्टी और उसके अध्यक्ष राहुल गांधी पर हमला करने का कोई मौका नहीं छोड़ते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को फोन बैंकिंग को लेकर कांग्रेस अध्यक्ष पर तंज कसा। मोदी ने आरोप लगाते हुए कहा, “यूपीए (संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन) के शासन काल के दौरान ‘फोन बैंकिंग’ के जरिए बैंक के कर्ज में भारी घोटाले के लिए एक ‘विशेष अधिकार प्राप्त परिवार’ जिम्मेदार है।”
उन्होंने संकल्प लिया कि वह एनपीए (गैर-निष्पादित संपत्ति यानी फंसा हुआ कर्ज) का एक-एक रुपया वापस लाएंगे।
उन्होंने एनपीए को यूपीए के सबसे बड़ा घोटाला बताया। मोदी ने कहा कि यूपीए के शासनकाल में बकाया कर्ज के रूप में 2.5 लाख करोड़ रुपये बताकर इसे छिपाने की कोशिश की गई जबकि असल में यह रकम नौ लाख करोड़ रुपये थी।
मोदी ने न तो राहुल का नाम लिया और न ही कांग्रेस के प्रथम परिवार के किसी अन्य सदस्य का। उन्होंने राहुल और उनके परिवार पर तंज कसते हुए ‘नामदार’ शब्द का प्रयोग किया।
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भारत डाक भुगतान बैंक (आईपीपीबी) का शुभारंभ करते हुए यहां एक कार्यक्रम में मोदी ने कहा कि राजग (राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन) के शासनकाल में कोई ऐसा कर्ज नहीं प्रदान किया गया जो फंस गया। उन्होंने कहा कि उनकी सरकार ने 2014 के पहले के 21 ऋण चूककर्ताओं को चिन्हित किया है, जो 1.75 लाख करोड़ रुपये का भुगतान करने में विफल रहे और उनसे वसूली की कार्रवाई जारी है।
उन्होंने कहा कि सरकार ने एक लाख करोड़ के एनपीए वाले 27 ऋणचूककर्ताओं को भी चिन्हित किया है और सरकार वसूली को लेकर कार्य कर रही है।
मोदी ने कहा कि उनके सत्ता में आने के बाद 50 करोड़ से अधिक रकम का कर्ज नहीं चुकाने वालों की समीक्षा के दौरान यह प्रकाश में आया।
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प्रधानमंत्री ने इससे पहले कहा कि बैंक ऐसे ऋण चूककर्ताओं के पीछे पड़े हुए रहते थे लेकिन आज वही लोग पैसे लौटाने के लिए बैंकों के पीछे पड़े हुए हैं क्योंकि जांच एजेंसियों ने उनपर नकेल कस दी है।
उन्होंने कहा, “जिन लोगों को लगता था कि उन्होंने नामदार परिवार की मदद से बैंकों से कर्ज लिया इसलिए उनके खाते में हमेशा ‘इनकमिंग’ बना रहेगा, उनको महूसस हो गया कि अब उनके खाते से ‘आउटगोइंग’ शुरू हो गया है।”
मोदी ने कहा, “फंसे हुए कर्ज का एक-एक रुपया वसूल होगा और उसका इस्तेमाल गरीबों के विकास में किया जाएगा।”
प्रधानमंत्री ने कहा कि ‘विशेषाधिकार प्राप्त परिवार’ ने लगातार फोन बैंकिग द्वारा कर्ज देकर अर्थव्यवस्था में अनेक सुराख बना दी है।
उन्होंने कहा, “सरकार अगर इसे सार्वजनिक कर देती तो अर्थव्यवस्था पर विनाशकारी प्रभाव पड़ता। राजग सरकार ने सर्तकतापूर्वक देश को इस संकट से निकाला।”
प्रधानमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार ने भगोड़ा आर्थिक अपराधी विधेयक पारित करने जैसे अनेक सुधार के उपाय किए हैं। इस कानून से चूककर्ताओं की परिसंपत्तियां जब्त करना संभव हुआ है, चाहे वे देश में नहीं हों। उन्होंने कहा कि बैंकिंग प्रणाली में पेशेवराना दृष्टिकोण अपनाया गया है।
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