सूबे के पूर्व मुख्यमंत्री को एक महीने की जेल, तुरंत मिली जमानत

जगदम्बिका पाललखनऊ। सूबे के पूर्व मुख्यमंत्री और डुमरियागंज सीट से भाजपा सांसद जगदम्बिका पाल को स्थानीय अदालत ने 2014 के लोकसभा चुनाव के दौरान आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन का दोषी करार दिया गया है। अदालत ने सांसद को एक महीने के कारावास की सजा सुनाई है। हालांकि, सांसद को अदालत से तुरंत जमानत भी मिल गई है।

बता दें मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट (सीजेएम) संजय चौधरी ने पाल को लेकर शुक्रवार को फैसला सुनाया।

वरिष्ठ अभियोजन अधिकारी केशव पाण्डेय ने बताया कि तत्कालीन एसडीएम ने पाल के खिलाफ बंसी कोतवाली में आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन का मामला दर्ज कराया था।

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पाण्डेय ने कहा, ‘सीजेएम ने पाल पर सौ रुपये जुर्माना भी लगाया है। हालांकि, अदालत ने पाल को तत्काल जमानत दे दी’। पाल पर आरोप था कि 2014 के लोकसभा चुनाव में एक रैली के दौरान उन्होंने अनुमन्य संख्या से अधिक वाहनों का इस्तेमाल किया था।

उल्लेखनीय है कि जगदम्बिका पाल पहले कांग्रेस में थे, उन्होंने 2014 में पार्टी को छोड़ भाजपा का हाथ थामा था। इससे पहले 1994 और 1998 में भी कांग्रेस छोड़ चुके हैं।

एक दिन का मुख्यमंत्री

भाजपा सांसद जगदम्बिका पाल को 1998 में एक दिन के लिए मुख्यमंत्री बनाया गया था। दरअसल, तत्कालीन गवर्नर रोमेश भंडारी ने कल्याण सिंह सरकार को भंग कर दिया था, जिसके बाद पाल सीएम बनाए गए।

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लेकिन राज्यपाल के फैसले के खिलाफ कल्याण सिंह इलाहाबाद हाईकोर्ट पहुंचे, जहां गवर्नर भंडारी के फैसले को गैर संवैधानिक करार देते हुए सरकार को फिर से बहाल कर दिया गया था। इसके बाद एक बार फिर से कल्याण सिंह सूबे के मुख्यमंत्री बने थे।

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