कफ सिरप कांड: MP में अब तक 14 बच्चों की मौत, 5 गंभीर; कोल्ड्रिफ के मालिक गिरफ्तारी की कगार पर, तमिलनाडु में SIT जांच

मध्य प्रदेश के छिंदवाड़ा जिले में जहरीले कफ सिरप ‘कोल्ड्रिफ’ से बच्चों की मौत का सिलसिला थमने का नाम नहीं ले रहा। सितंबर के अंत से अब तक कम से कम 14 बच्चे (ज्यादातर 5 वर्ष से कम उम्र के) किडनी फेलियर से मारे गए हैं, जबकि 5 अन्य नागपुर के अस्पतालों में जिंदगी और मौत की जंग लड़ रहे हैं।

ताजा रिपोर्ट्स के अनुसार, तमिलनाडु स्थित श्रीसन फार्मास्यूटिकल्स (Sresan Pharmaceuticals) के मालिक के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी हो चुका है। छिंदवाड़ा पुलिस की दो टीमें चेन्नई और कांचीपुरम पहुंच चुकी हैं, और कंपनी के प्रोडक्शन यूनिट पर छापेमारी की तैयारी है। केंद्रीय औषधि मानक नियंत्रण संगठन (CDSCO) ने भी तमिलनाडु FDA को सबसे गंभीर धाराओं के तहत कार्रवाई के निर्देश दिए हैं।

ताजा अपडेट: मौतों का आंकड़ा 14, राजस्थान में भी 2 मामले

  • छिंदवाड़ा: 12 मौतें (सितंबर से अब तक), जिनमें ज्यादातर बच्चे सर्दी-खांसी के इलाज में कोल्ड्रिफ सिरप पीने के बाद किडनी फेलियर का शिकार हुए। तामिया की धानी डेहरिया (1.5 वर्ष), जुन्नारदेव के ज्यांशु यदुवंशी (2 वर्ष) और रीधोरा के वेदांश पवार (2.5 वर्ष) जैसे मासूमों की हालिया मौतें इसकी पुष्टि करती हैं।
  • पांढुर्णा: 1 मौत।
  • बैतूल: 1 मौत।
  • राजस्थान: 2 मौतें (सीकर और भरतपुर में), जहां सिरप के सैंपल में डाइएथिलीन ग्लाइकोल (DEG) की मौजूदगी पाई गई।
  • नागपुर में इलाज: 5 बच्चे AIIMS और अन्य अस्पतालों में भर्ती हैं, जहां किडनी डायलिसिस चल रही है।

मध्य प्रदेश के उपमुख्यमंत्री और स्वास्थ्य मंत्री राजेंद्र शुक्ल ने मंगलवार को कहा, “यह दुर्भाग्यपूर्ण घटना है। हम हर स्तर पर प्रयास कर रहे हैं। छिंदवाड़ा पुलिस की टीमें आरोपी कंपनी के मालिक को चेन्नई और कांचीपुरम में गिरफ्तार करने पहुंच चुकी हैं।” उन्होंने डॉक्टरों से अपील की, “4 वर्ष से कम उम्र के बच्चों को कफ सिरप न दें, जैसा ICMR की एडवाइजरी कहती है।”

जहरीले सिरप की जांच: DEG की मात्रा 48.6%, WHO सीमा से 480 गुना ज्यादा

तमिलनाडु के गवर्नमेंट ड्रग टेस्टिंग लैबोरेटरी ने कोल्ड्रिफ (बैच SR-13, मई 2025 मैन्युफैक्चर, अप्रैल 2027 एक्सपायरी) के सैंपल में 48.6% डाइएथिलीन ग्लाइकोल (DEG) पाया, जो किडनी और लिवर फेलियर का कारण बनता है। WHO और भारतीय मानकों के अनुसार, DEG की सीमा 0.1% है – यानी यह 480 गुना अधिक है। MP FDA ने भी 46.28% DEG की पुष्टि की। सिरप में एंटीबायोटिक्स, एंटीपायरेटिक्स जैसे अन्य सैंपल साफ पाए गए, लेकिन कोल्ड्रिफ संदिग्ध है।

CDSCO ने 6 राज्यों (हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, गुजरात, तमिलनाडु, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र) में 19 दवा इकाइयों पर रिस्क-बेस्ड इंस्पेक्शन शुरू किया है। एक बहुविषयक टीम (NIV, ICMR, NEERI, CDSCO, AIIMS-नागपुर) सैंपल्स का विश्लेषण कर रही है।

कार्रवाई: बैन, स्टोर सील, डॉक्टर पर FIR

  • बैन: MP, तमिलनाडु, केरल, यूपी, तेलंगाना और राजस्थान ने कोल्ड्रिफ और श्रीसन के सभी उत्पादों की बिक्री प्रतिबंधित कर दी। तमिलनाडु ने 1 अक्टूबर से प्रोडक्शन रोक दिया।
  • सीलिंग: छिंदवाड़ा में 5 मेडिकल स्टोर सील, सिरप जब्त। गांवों में मुनादी करवाई जा रही है।
  • FIR: डॉ. प्रवीण सोनी (जिन्होंने सिरप प्रिस्क्राइब किया) पर हत्या का केस दर्ज। कंपनी पर मैनस्लॉटर चार्ज।
  • मुआवजा: CM मोहन यादव ने मृतकों के परिवारों को 4 लाख रुपये और इलाज का खर्च देने की घोषणा की।

राजनीतिक बवाल: कांग्रेस का 1 करोड़ मुआवजे का ऐलान

कांग्रेस ने सरकार पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए 1-1 करोड़ मुआवजे की मांग की। भोपाल और जयपुर में विरोध प्रदर्शन हुए। BJP ने कहा, “जांच पारदर्शी है, दोषियों को सजा मिलेगी।” विशेषज्ञों ने दवा नियंत्रण में खामियों पर सवाल उठाए, जो 2022 गैम्बिया कांड की याद दिलाता है।

परिवारों का दर्द: ‘सर्दी का इलाज जहर बन गया’

छिंदवाड़ा के गांवों में मातम छाया है। एक परिजन ने कहा, “बच्चे को सर्दी थी, डॉक्टर ने सिरप दिया। कुछ घंटों में किडनी फेल हो गई।” नागपुर में भर्ती बच्चों के परिजन अस्पतालों में डटे हैं। प्रशासन ने जांच समिति गठित की है, जो सिरप की सप्लाई चेन की पड़ताल करेगी।

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