
नई दिल्ली। आंध्र प्रदेश के सीएम चंद्रबाबू नायडू ने अपने चुनावी वादे को पूरा कर दिया है। शनिवार को कापू समुदाय के लिए 5 परसेंट आरक्षण का प्रावधान कर दिया गया है।
कापू समुदाय को ये रिजर्वेशन सरकारी नौकरियों और शैक्षणिक संस्थानों में दिया जाएगा। इस 5 फीसदी रिजर्वेशन में कापू के साथ इसकी सब कॉस्ट ओंतरी, तेलगा और बलीजा समुदाय के लोगों को भी शामिल किया गया है।
कापू लोगों को बैकवार्ड कॉस्ट की F कैटेगरी में रिजर्वेशन दिया गया है। राज्य में पहले ओबीसी (जिसमें A,B,C,D,E ग्रुप शामिल हैं) के लिए 29 फीसदी रिजर्वेशन था।
यह भी पढ़ें : नई करेंसी में मोदी सरकार से बड़ी चूक, कोर्ट ने भेजा नोटिस
वहीं अनुसूचित जाति के लिए 15 फीसदी और अनुसूचित जनजाति के लिए 6 फीसदी आरक्षण का प्रावधान है। इस तरह अब आंध्रप्रदेश में ओबीसी का कुल आरक्षण 34 फीसदी हो जाएगा।
टीडीपी ने किया था वादा
टीडीपी ने अपने चुनावी वादों में कापू समुदाय के लिए रिजर्वेशन का एजेंडा रखा था। कापू समुदाय के लिए रिजर्वेशन का फैसला मंजुनाथ कमीशन की रिपोर्ट के बाद दिया गया था।
सुप्रीम कोर्ट की फैसले के मुताबिक आरक्षण 50 फीसदी की सीमा पार नहीं कर सकता है। लेकिन संविधान की 9 वीं अनुसूची में आरक्षण का प्रावधान डालकर इसे कानूनी बनाया जा सकता है।
यह भी पढ़ें : पद्मावती का विरोध है ड्रामा, चुनाव बाद हो जाएगा खत्म
तमिलनाडु में भी 50 फीसदी से ज्यादा रिजर्वेशन दिया गया है। वहां 69 फीसदी रिजर्वेशन है। तमिलनाडु की ही तरह अब आंध्र प्रदेश को अपने आरक्षण कानून को 9 वीं अनुसूची में शामिल करवाना होगा।
कापुस समुदाय को 5 फीसदी आरक्षण दिए जाने के बाद आरक्षण की 50 फीसदी लिमिट की सीमा पार हो गई है। अब इसे केंद्र को भेजा जाएगा। ताकि इसे 9 वीं अनुसूची में शामिल करवा कर कानूनी बनाया जा सके।
चंद्रबाबू नायडू ने कहा
चंद्रबाबू नायडू का कहना है कि उन्होंने अपनी पदयात्रा के दौरान कापुस समुदाय की दिक्कतों को पहचाना था। इस साल जनवरी में कापुस समुदाय ने रिजर्वेशन के लिए हिंसक प्रदर्शन भी किया था।