महभारत के युद्ध में मारे गए किसी भी योद्धा का शव क्यों नहीं मिला?

महभारत के युद्धमहाभारत के युद्ध में कई वीरों ने अपना बलिदान दिया।  ये युद्ध इतना भयानक था कि कुरुक्षेत्र की मिट्टी का रंग आज भी लाल है। आज भी इस युद्ध से जुड़ी कई ऐसी अनसुलझी बातें हैं जिनका जवाब किसी के पास नहीं। इनमें सबसे बड़ा इन योद्धाओं की मृत्यु से जुड़ा हुआ है।

महाभारत के युद्ध का सबसे बड़ा राज

सवाल ये है कि अगर वाकई ये सब सच है तो उन योद्धाओं के शवों का क्या हुआ… उनका अंतिम संस्कार कैसे हुआ…? क्योंकि इस युद्ध में मारे गए योद्धाओं के शव आजतक नहीं मिले। विज्ञान बहले ही आज दुगनी और चौगुनी रफ़्तार से  नई नई खोज कर सभी को चौंका रहा हो लेकिन महाभारत का वो भयंकर युद्ध वाकई घटित हुआ था इसके कोई प्रमाण आज तक हासिल क्यों नहीं हो पाए।

इस सवाल का जवाब तलाश रहे शोधकर्ताओं को कुछ रोचक बातें पता चली हैं। उनका दावा है कि इसे जानने के बाद इस राज से पर्दा हट जाएगा। लेकिन इस राज को समझने से पहले कुरुक्षेत्र के बारे में जानना बेहद जरूरी है।

कुरुक्षेत्र 

कुरुक्षेत्र हरियाणा राज्य का एक प्रमुख जिला और उसका मुख्यालय है। यह हरियाणा के उत्तर में स्थित है तथा अम्बाला, यमुना नगर, करनाल और कैथल से घिरा हुआ है तथा दिल्ली और अमृतसर को जोड़ने वाले राष्ट्रीय राजमार्ग और रेलमार्ग पर स्थित है। इसका शहरी इलाका एक अन्य एतिहासिक स्थल थानेसर से मिला हुआ है। यह एक महत्वपूर्ण हिन्दू तीर्थस्थल है। माना जाता है कि यहीं महाभारत की लड़ाई हुई थी और भगवान कृष्ण ने अर्जुन को गीता का उपदेश यहीं ज्योतिसर नामक स्थान पर दिया था।

महाभारत की लड़ाई 

उस काल में आज के जैसे रात में और छिपकर लड़ाइयां नहीं लड़ी जाती थीं।  युद्ध को दिन ढलते ही रोक दिया जाता था। आज के दौर में भले ही मारे गए दुश्मन के शव के दुर्व्यवहार किया जाता हो लेकिन पहले ऐसा नहीं होता था।

दिन ढलते ही जिन लोगों के शव भूमि पर होते थे उनका अंतिम संस्कार किया जाता था। चूंकि अगले दिन फिर उसी मैदान पर लड़ाई होती थी इसलिए इन वीरों की राख भी उठाना संभव नहीं था।

इस संबंध में शोधकर्ताओं के और अधिक पड़ताल करने पर पता चलता है कि इसका जवाब काफी हद तक कुरुक्षेत्र के पौराणिक इतिहास में भी मिलता है। इसके अनुसार, ब भीष्म पितामाह ने अपनी अंतिम सांस ली थी, उस दिन युद्ध समाप्त होने के बाद कुरुक्षेत्र की भूमि को जला दिया गया था। ऐसा इसलिए किया गया था ताकि हर मृत योद्धा को स्वर्ग में जगह मिले और उनके शवों का शुद्धिकरण हो जाए। इसके फलस्वरूप ही महाभारत के युद्ध में आजतक एक भी शव नहीं मिला।

LIVE TV