सब कुछ गवां चुके ‘किंगमेकर’ को मिला गच्चा, आख़िरी दांव भी हुआ फेल

लालू गिरे मुंह के बलनई दिल्ली। बिहार में तख्तापलट होने के बाद राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव को तगड़ा झटका लगा। नीतीश के इस्तीफे के बाद बिहार में भाजपा और जेडीयू गठबंधन वाली सरकार ने लालू की कमर तोड़ दी। फिर भी वे किसी भी कीमत पर अपनी हार मानने को तैयार नहीं थे।

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उन्होंने बीजेपी को मुंहतोड़ जवाब देने के लिए प्लान तैयार किया और 27 अगस्त को ‘बीजेपी हटाओ, देश बचाओ’ रैली आयोजित की है। लेकिन रैली से पहले ही उन्हें एक और जोरदार झटका लगा, जिससे वे मुंह के बल गिरते दिखाई दे रहे हैं।

बता दें हाल ही में जेडीयू ने आरजेडी-कांग्रेस से महागठबंधन तोड़कर एनडीए का दामन थाम लिया। नीतीश का बीजेपी में जाना विपक्षी फ्रंट के लिए बड़ा झटका साबित हुआ।

ख़बरों के मुताबिक़ बीजेपी के खिलाफ विपक्षी एकजुटता को बड़ा झटका लगा है। बसपा सुप्रीमो मायावती पटना में होने वाली आरजेडी की रैली में शामिल नहीं होंगी। इस रैली में गैर-एनडीए दलों के नेताओं को आमंत्रित किया गया है।

वहीं दूसरी तरफ, यूपी में समाजवादी पार्टी की पारिवारिक कलह चुनाव के बाद तक बदस्तूर जारी है। ऐसे में मायावती का आरजेडी की रैली में न जाना बीजेपी के खिलाफ लामबंदी को और कमजोर करने जैसा है।

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बता दें कि हाल ही में जब मायावती ने राज्यसभा सदस्य से इस्तीफा दिया था, तब लालू यादव ने उन्हें अपनी पार्टी के कोटे से राज्यसभा भेजने की पेशकश की थी।

आरजेडी की इस रैली को 2019 के लोकसभा चुनाव से पहले विपक्षी एकता को मजबूती मिलने के तौर पर देखा जा रहा है।

मगर, जैसे-जैसे चुनाव का वक्त नजदीक आ रहा है, बीजेपी के विरोधी दलों की इस उम्मीद को झटका लगता जा रहा है।

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