ललित मोदी के बेटे रुचिर मोदी, क्‍या बन सकते हैं राजस्थान क्रिकेट संघ के नए अध्यक्ष?

रुचिर मोदी राजस्थान। क्रिकेट के गलियारों में कुछ हलचल है। क्या राजस्थान क्रिकेट संघ के नए अध्यक्ष ललित मोदी के बेटे रुचिर मोदी होंगे ? रुचिर मोदी ने ठीक उसी तरह से राजस्थान क्रिकेट में एंट्री मारी है। जिस तरह से उनके पिता ललित मोदी ने नागौर जिला क्रिकेट संघ के अध्यक्ष पद पर एंट्री मारी थी।

राजस्थान के अलवर जिले के क्रिकेट संघ के अध्यक्ष पद पर रुचिर मोदी की ताजपोशी हुई है। राजस्थान क्रिकेट संघ के सचिव सोमेंद्र तिवारी के मुताबिक 23 अगस्त को अलवर जिला संघ में हुए चुनाव में अध्यक्ष पद के पर जीते हैं। हैरान कर देने वाली बात ये है कि किसी को कानों कान खबर तक नहीं हुई और रुचिर मोदी चुनाव जीत भी गए। रुचिर  21 जुलाई को राजस्थान क्रिकेट संघ के जयपुर दफ्तर पहुंचे थे।

पिता के नक्‍से-कदम पर चलने को हैं रुचिर मोदी 

किसी भी जिला के अध्यक्ष पद पर चुनाव जितने के लिए उस जिले में जमीन होनी जरुरी है और रुचिर मोदी ने अलवर में जमीन खरीदी है। हालांकि रुचिर का अपने पिता के साथ जयपुर में मैच देखने आने के अलावा राजस्थान क्रिकेट से कोई जुड़ाव नही रहा है। रुचिर मुंबई से ग्रेजुएशन कर रहे हैं। ललित मोदी को देश के भागने और गबन के आरोपों के बावजूद राजस्थान क्रिकेट संघ पर ललित मोदी के अध्यक्ष पद पर बने रहने की वजह से बीसीसीआई ने आरसीए की मान्यता रद्द कर रखी है।

इसलिए रुचिर मोदी को आरसीए का अध्यक्ष बनाकर बीसीसीआई से आरसीए की मान्यता बहाल करवाई जाएगी। ऐसा भी कहा जा रहा है कि रुचिर मोदी की राजस्थान क्रिकेट में मजबूत करने के लिए ही ललित मोदी साउथ अफ्रीका अफ्रीका के क्रिकेट और भारतीय टीम के पूर्व कोच गैरी कर्सटन को राजस्थान के क्रिकेट खिलाड़ियों को कोचिंग देने के लिए भेजा है।

रुचिर मोदी भले ही अलवर जिले के क्रिकेट संघ का अध्यक्ष बन गए हों। लेकिन ये विवाद अभी लंबा चलेगा। जैसे कि ललित मोदी को नागौर से अध्यक्ष बनने पर हुआ था। 2010 से ही अलवर जिला क्रिकेट संघ के चुनाव पर रोक लगी हुई है। लेकिन आरसीए के सचिव सोमेंद्र तिवारी की माने तो सारी फार्मेलिटीज पूरी कर ली गई है, और एक यही जिला खाली था इसलिए रुचीर मोदी को अलवर से लाया गया।

2003 दिसंबर में सत्ता में आते ही वसुंधरा ने किशोर रुंगटा, कमल मोरारका और राजसिंह डूंगरपूर की तिकड़ी को खत्म करते हुए खेल एक अध्यादेश लाकर क्रिकेट एसोशिएसन के चुनाव का एलान कर दिया। तब तक राजस्थान में ललित मोदी को न कोई जानता था और न किसी को पता था कि अक्टूबर 2004 का खेल अध्यादेश किस लिए है। उस समय नागौर में ललित कुमार मान के एक शख्स ने जमीन खरीदी और ललित कुमार दिसंबर 2004 में नागौर जिला क्रिकेट का अध्यक्ष बन गए। लेकिन नागौर जिला क्रिकेट संघ के अध्यक्ष पद की हैसियत से अचानक 21 मई को ललित मोदी को राजस्थान क्रिकेट का अध्यक्ष चुन लिए गया।

ये सब इतनी जल्दी हुआ कि रंगटा, मोरारका और राज सिंह डूंगरपुर को कुछ पता भी नही चल पाया। ललित कुमार और ललित मोदी के हस्ताक्षर में अंतर को लेकर रुंगटा कोर्ट गए जहां ललित मोदी के पक्ष में ही फैसला आया।

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