ब्लैक मनी पर पीएम मोदी की चेतावनी के एक दिन बाद ही देश को हुआ सबसे बड़ा फायदा

पीएम मोदीनई दिल्‍ली। बीते दिन पीएम मोदी की चेतावनी के एक ही दिन बाद आज केंद्र सरकार को विदेशी बैंकों में रखे भारतीयों के काले धन का पता लगाने के मामले एक बड़ी उपलब्धि हासिल हुई है। आयकर विभाग ने इन खातों में जमा करीब 13 हजार करोड़ रुपए के काले धन का पता लगाया है।

पीएम मोदी का असर

वहीं इससे पहले साल 2011 में फ्रांस सरकार ने जेनेवा के एचएसबीसी बैंक में भारतीयों की ओर से जमा कराई गई रकम के करीब 400 मामलों की जानकारी दी थी। आयकर विभाग की जांच रिपोर्ट के मुताबिक, इन बैंक खातों में करीब 8,186 करोड़ रुपये जमा थे। काला धन पर सरकार को पता चली अब तक की यह सबसे बड़ी रकम है।

इसके बाद इंटरनेशनल कंजोर्शियम ऑफ इन्वेस्टिगेटिव जर्नलिस्ट्स की वेबसाइट पर साल 2013 में 700 भारतीयों के विदेशी बैंक खातों का खुलासा हुआ था। इसमें 5000 करोड़ रुपये जमा होने का पता चला था। इस तरह 2011 और 2013 में मिली जानकारी को मिलाकर भारतीयों के कुल 1100 खातों में 13 हजार करोड़ रुपए की ब्लैक मनी का पता चला है। इनकम टैक्स असेसमेंट होने के बाद विभाग ने 5, 377 करोड़ रुपये का टैक्स लगाया है। खाता धारकों को पहले टैक्स जमा करने के लिए 31 मार्च 2016 तक की मोहलत दी गई थी। सितंबर 2015 तक 1100 संदिग्धों में महज 638 ने 3770 करोड़ रुपये की अघोषित आय का खुलासा किया था।

एचएसबीसी मामले में सरकार को 628 बैंक खातों की जानकारी मिली थी। इनमें से 213 लेनदेन में नहीं थे। कुछ खातों में रकम नहीं थी। कई सारे खाते तो एनआरआई के थे। कुछ खातों का तो पता नहीं लगाया जा सका। 398 खाता ही चल रहा था। आईटी सेटलमेंट कमीशन ने इन खाता धारकों के खिलाफ कार्रवाई की है। एचएसबीसी ने इस मामले पर कुछ भी कहने से मना कर दिया।

इनकम टैक्स विभाग ने इन मामलों में अब तक 55 मामलों में केस दर्ज किए हैं। खाता धारकों पर वेरिफिकेशन में गलत जानकारी देने और टैक्स चोरी का आरोप है। एचएसबीसी खातों के 75 केसों पर सुनवाई चल रही है। आईसीआईजे की सूचना के आधार पर ये केस दर्ज किए गए हैं। खाता धारकों के खिलाफ ईडी ने प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉड्रिंग एक्ट (पीएमएलए) के तहत कार्रवाई की है।

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