धोखाधड़ी! कर्मचारियों की साठ-गांठ से मिलता रहा 3 साल से लापता सिपाही का वेतन

रिपोर्ट- दिलीप कटियार

फर्रूखाबाद- पुलिस लाइन से 4 अप्रैल 2016 को जहानगंज थाने पर तबादले पर भेजा गया सिपाही साढ़े तीन वर्ष तक लापता रहा। पुलिस विभाग ने सिपाही को इस कार्यकाल में बिना ड्यूटी के 17 लाख 22 हजार वेतन भुगतान कर दिया। सिपाही की बीमारी से मौत की खबर आई तो अधिकारियों के होश उड़ गए। पुलिस लाइन के जीडी कार्यालय, कैश पटल व एकाउंट शाखा में हड़कंप मच गया। रात में ही सभी पटलों को खुलवाकर अफसरों ने रिकार्ड खंगाले।

जनपद कानपुर देहात के गांव कपूरपुर निवासी नरेश सिंह वर्ष 1995 में पुलिस विभाग में भर्ती हुए थे। उनका तबादला वर्ष 2015 में फर्रुखाबाद में हुआ। नरेश सिंह ने लाइन में आमद कराई और ड्यूटी करता रहा। 4 अप्रैल 2016 को नरेश सिंह का तबादला पुलिस लाइन से जहानगंज थाने में कर दिया गया लेकिन नरेश सिंह ने थाने में आमद नहीं करवाई और वह लापता हो गया।

पुलिस लाइन के कर्मचारियों व अधिकारियों से साठ गांठ करके नरेश बिना ड्यूटी के साढ़े तीन साल तक वेतन लेता रहा। हर महीने पुलिस लाइन के जीडी कार्यालय से उसकी ड्यूटी की रिपोर्ट आमद रवानगी का क्रम चलाया गया। कैश पटल का मुंशी महीने की पंद्रह तारीख को जीडी कार्यालय से वेतन को लेकर नक्शा का मिलान करता रहा।

लाइन के कैश पटल से उसके ड्यूटी करने की सूचना देकर वेतन बिल तैयार करके हर महीने की 20 तारीख को बैंक खाते में भेजे जाते रहे। सिपाही को बिना ड्यूटी के 41 हजार रुपये का मासिक वेतन मिलता रहा। सिपाही की अपने गांव कपूरपुर में मौत हो गई।इसके बाद पुलिस लाइन व हेडपेशी कार्यालय में सिपाही की तैनाती की खोजबीन की गई। पुलिस के रिकार्ड में नरेश लाइन में तैनात रहा।

जहानगंज थाने में तबादले का आदेश भी नहीं मिला। गणना कार्यालय में नरेश की 4 अप्रैल को रवानगी थाने में करके जीडी मुंशी के पास भेज दी गई।जीडी मुंशी का काम था कि वह थाने में सूचना देता कि एक सिपाही नरेश की थाने में लाइन से रवानगी की गई है। जब राज खुला तो लाइन के अफसरों के होश उड़ गए। वेतन बिल से लेकर सभी कामों को आरआई व सीओ लाइन के हस्ताक्षर के बाद ही भुगतान के लिए भेजा जाता रहा है।

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सिपाही को बिना ड्यूटी के वेतन दिया जाना गंभीर प्रकरण है। पुलिस लाइन की जीडी शाखा व कैश पटल से यह खेल हुआ है। लाइन के अधिकारियों को भी इसका पर्यवेक्षण करना चाहिए। साढ़े तीन वर्ष तक लगातार चूक आखिर कैसे हो सकती है। एसपी अनिल मिश्र ने बताया पूरे प्रकरण में जांच चल रही है। जांच रिपोर्ट आते ही कार्रवाई की जाएगी। कोई भी दोषी बख्शा नहीं जाएगा

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