गुजरात के इस बीजेपी विधायक की तारीफ़ करनी होगी , जाने कैसे…

डिजास्टर मैनेजमेंट. यानी जब सब कुछ बर्बाद हो जाए तो भागते भूत की लंगोट या उससे भी अधिक कुछ बचा लेना. वो विनोद कुमार शुक्ल की कविता थी न- सब कुछ होना बचा रहेगा.

बीजेपी विधायक

 

वहीं सोचिए अगर किसी डूबते हुए को तिनके का सहारा मिल जाए तो, और सोचिए कि वो तिनका भी खुद उसी का हो तो, और सोचिए वो तिनका उसने डूबते-डूबते ही निर्मित किया हो तो? तो, उस इंसान की तारीफ़ किए बिना आप नहीं रह पाएंगे.

 

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चलिए, अब चूंकि स्टोरी का दूसरा पैरा शुरू हुआ चाहता है तो हम अब सन्दर्भों और उपमाओं से हटकर सीधे खबर पर आते हैं, जिससे आपके सामने पूरी बात बीजेपी को मिले ‘मैंडेट’ की तरह ‘क्लियर’ हो जाएगी.

बता दें की तो हुआ क्या मित्रो कि गुजरात में BJP के एक विधायक हैं. नाम है- बलराम थवानी. नरोदा विधानसभा सीट से MLA हैं. इनका एक वीडियो वायरल हुआ. उस वीडियो में आप एक महिला के बाल पकड़कर उसे पीट रहे हैं. नहीं दरअसल बाल किसी और ने पकड़े हैं और पीट थवानी रहे हैं.

डिजास्टर मैनेजमेंट. यानी जब सब कुछ बर्बाद हो जाए तो भागते भूत की लंगोट या उससे भी अधिक कुछ बचा लेना. वो विनोद कुमार शुक्ल की कविता थी न- सब कुछ होना बचा रहेगा. सोचिए अगर किसी डूबते हुए को तिनके का सहारा मिल जाए तो, और सोचिए कि वो तिनका भी खुद उसी का हो तो, और सोचिए वो तिनका उसने डूबते-डूबते ही निर्मित किया हो तो? तो, उस इंसान की तारीफ़ किए बिना आप नहीं रह पाएंगे.

जहां अब चूंकि स्टोरी का दूसरा पैरा शुरू हुआ चाहता है तो हम अब सन्दर्भों और उपमाओं से हटकर सीधे खबर पर आते हैं, जिससे आपके सामने पूरी बात बीजेपी को मिले ‘मैंडेट’ की तरह ‘क्लियर’ हो जाएगी.

तो हुआ क्या मित्रो कि गुजरात में BJP के एक विधायक हैं. नाम है- बलराम थवानी. नरोदा विधानसभा सीट से MLA हैं. इनका एक वीडियो वायरल हुआ. उस वीडियो में आप एक महिला के बाल पकड़कर उसे पीट रहे हैं. नहीं दरअसल बाल किसी और ने पकड़े हैं और पीट थवानी रहे हैं.

लेकिन यहां तक बलराम अपना नुकसान करवा चुके थे. जितना महत्तम नुकसान सत्ता पक्ष के विधायक को हो सकता है, शायद उतना नुकसान. मगर शायद अबकी बार बात बड़ी थी और चूंकि बात हाथ से निकल चुकी तो दूर तलक जाने लगी. और फिर हुआ शुरू – डिजास्टर मैनेजमेंट. वही डिजास्टर मैनेजमेंट जिसकी बात हमने पहले पैरा में की थी. और उस डिजास्टर मैनेजमेंट के हो चुकने के बाद आई ये तस्वीर-

अब आप पूछेंगे कि ये तस्वीर क्या है? हुआ क्या कि विधायकजी ने महिला को पीटा तो सोशल मीडिया पर वायरल हो गए. हर तरफ छीछालेदर होने लगी. केस दर्ज करने की भी मांग उठने लगी. इसके बाद तो विधायकजी ने अपने किए पर अफसोस जताया और कहा कि वो माफी मांगने को तैयार हैं. लेकिन महिला माफ करने को तैयार नहीं हुई.

 

दरअसल बोली कि कोई किसी का खून कर माफी मांगे तो माफी कैसे दे सकते हैं. लेकिन इस बयान के चंद घंटे बाद ही महिला विधायक बलराम थावानी को राखी बांधते हुए नज़र आई. इसके बाद दोनों ने एक दूसरे को मिठाई भी खिलाई और कहा सुना माफ करने को कहा. ये उसी की तस्वीर है. इस वाली पूरी घटना के बारे में भी हम स्टोरी कर ही चुके हैं-

यानी? यानी ये कि उन चंद घंटों में ऐसा क्या हुआ, ऐसा क्या कर दिया कि ‘छत्तीस का आंकड़ा’ अब ‘एक और एक ग्यारह’ हो गया. मतलब सब कुछ सुलटा लेने के लिए, जेल जाने से बचने के लिए, कैरियर तबाह होने से बचाने के लिए बलराम ने 50 दिन का या 5 साल का समय भी नहीं मांगा.

ये सब कुछ निपटा दिया चंद घंटों में. मतलब इन्हें तो इनके इस मैनेजमेंट के लिए अहमदाबाद के आईआईएम में लेक्चर के वास्ते बुलाया जाना चाहिए. आईआईएम-अहमदाबाद है भी गुजरात में ही.

बाकी सबसे लास्ट पैराग्राफ में ‘डिजास्टर’ कौन और ‘मैनेजर’ कौन ये तो आप पब्लिक हैं, आप जानते हैं. अब हम क्या बोलें. क्यूंकि हम बोलेगा तो बोलोगे कि बोलता है.

 

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