किसानों को लेकर आई बड़ी खबर, “प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना” में हुआ बदलाव

मोदी सरकार ने किसानों के लिए शुरू की गयी प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना में कई बदलाव किये हैं. जिनसे किसानों को अब और भी ज्यादा लाभ होने वाला है.  मत्रिमंडल ने प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना को किसानों के लिए अब स्वैच्छिक बनाने का फैसला किया है.PM नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में आर्थिक मामलों पर मंत्रिमंडलीय समिति ने फसल बीमा योजना लागू करने में आ रही समस्याओं को दूर करने के ये कदम उठाए गए हैं.

प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना

अब मिलेंगे बेहतर विकल्प-

राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों को वित्त का आकार या सांकेतिक औसत पैदावार का जिला स्तरीय मूल्य यानी किसी भी जिले के फसल मिश्रण के लिए बीमित राशि के रूप में न्यूनतम समर्थन मूल्य को चुनने का विकल्प दिया जाएगा. अन्य फसलों के लिए फसल के खेत मूल्य पर विचार किया जाएगा, जिनका न्यूनतम समर्थन मूल्य घोषित नहीं किया गया है. सरकार ने कहा कि पीएमएफबीवाई/आरडब्ल्यूबीसीआईएस के अंतर्गत केंद्रीय सब्सिडी असिंचित क्षेत्रों/फसलों के लिए 30 प्रतिशत तक प्रीमियम दरों के लिए सीमित होगी और सिंचित क्षेत्रों/फसलों के लिए 25 प्रतिशत होगी. 50 प्रतिशत या उससे अधिक सिंचित क्षेत्र वाले जिलों को सिंचित क्षेत्र/जिला  के रूप में माना जाएगा.

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आपदा को लेकर मिलेगा लाभ-

योजना लागू करने में राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों के लिए लचीलापन होगा और उनके पास प्रतिबंधित बुआई, स्थानीय आपदा, मध्य सीजन में विपरीत परिस्थिति तथा फसल कटाई के बाद के नुकसानों जैसे अतिरिक्त जोखिम कवर/विशेषताओं में से कोई एक या अनेक चुनने का विकल्प होगा. राज्य/केंद्र शासित प्रदेश ओला-वृष्टि आदि जैसे विशिष्ट एकल जोखिम/बीमा कवर की पेशकश पीएमएफबीवाई के अंतर्गत बेस कवर के साथ और बेस कवर के बिना दोनों स्थितियों में कर सकते हैं.

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