सुप्रीम कोर्ट के इस एक्शन से खतरे में पड़ा योगी का मुख्यमंत्री पद, एक आदेश से बदलेगा सबकुछ!

ईवीएम का भूतनई दिल्ली। पांचों राज्यों में चल रहे विधानसभा चुनाव तो कब के समाप्त हो चुके हैं और सभी राज्यों में सरकार भी बन चुकी है लेकिन अभी भी ईवीएम का भूत चुनाव आयोग का पीछा नहीं छोड़ रहा है। पहले मायावती और बाद में केजरीवाल तमाम नेताओं ने चुनावों में ईवीएम से छेड़छाड़ करने का आरोप लगाया है। वहीं दूसरी ओर सुप्रीम कोर्ट ने भी शुक्रवार को ईवीएम से छेड़छाड़ के मामले में दायर याचिका पर सुनावीई की है।

सुप्रीम कोर्ट ने ईवीएम छेड़छाड़ मामले में इलेक्शन कमीशन को नोटिस जारी किया है। पिछले माह पांचों राज्यों में हुए चुनाव के नतीजों ने कई दिग्गज नेताओं के होश उड़ा दिए थे जिसे लेकर वे अपनी हार को पचा नहीं पा रहे थे। ऐसे में उन्होंने ईवीएम से छेड़छाड़ का आरोप लगाया था। लेकिन चुनाव आयोग ने दावा करते हुए कहा था कि ये मशीनें पूरी तरह से सेफ हैं और इनमें किसी भी तरह की छेड़छाड़ करने की कोई गुंजाइश नहीं है। वहीं सर्वोच्च न्यायालय में दायर याचिका पर कोर्ट ने इस मामले में सीबीआई जांच की मांग को लेकर फिलहाल कोई ऑर्डर जारी करने से इनकार कर दिया है।

खबरों के मुताबिक सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश जगदीश सिंह खेहर, जस्टिस संजय कृष्णा कौल और डीवाई चंद्रचूड़ की बेंच ने ईवीएम मामले की सुनवाई की है। इस मामले में वकील मनोहर लाल शर्मा ने याचिका दाखिल कर सुनवाई करने की मांग की है। शर्मा ने कहा है कि हाल ही में पांचों राज्यों में संपन्न हुए विधानसभा चुनावों में इलेक्ट्रानिक वोटिंग मशीन में गड़बड़ी किए जाने का आरोप लगाया गया है। इसलिए इस मशीन की ठीक तरीके से जांच की जानी चाहिए। साथ ही साथ ईवीएम से कथित रूप से की गई छेड़छाड़ की जांच अमेरिकी कम्प्यूटर साइंटिस्ट्स से भी करायी जानी चाहिए।

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