मोदी सरकार ने कृषि यंत्रीकरण के लिए जारी किए 118 करोड़ रुपए

मोदी सरकारनई दिल्ली| केंद्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री राधा मोहन सिंह ने कहा है कि मोदी सरकार ने कृषि यंत्रीकरण के लिए 118 करोड़ रुपए जारी किए हैं। उन्होंने कहा कि तेजी से बदलती दुनिया और बढ़ती वैश्विक आर्थिक प्रतिस्पर्धा में उपलब्ध संसाधनों का अधिकतम दोहन और सर्वोत्तम प्रौद्योगिकियों का इस्तेमाल करना जरूरी है ताकि खाद्य की घरेलू जरूरतें पूरी की जा सकें और निर्यात को बढ़ाया जा सके।

कृषि मंत्री ने यह बात शुक्रवार को यहां ‘मेक इन इंडिया के लिए कृषि मशीनीकरण’ कॉफी टेबल बुक का लोकार्पण करते हुए कही। कृषि मंत्री ने कहा कि मोदी सरकार ने कृषि यंत्रीकरण को बढ़ावा देने के लिए दो वर्षों 2014-2016 में रुपये 342 करोड़ दिए जबकि इसके पहले की सरकार ने 2012 से 2014 के बीच महज 62 करोड़ दिए थे। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार ने 2016-17 के लिए इस मद में 118 करोड़ जारी किए हैं।

मोदी सरकार ने जारी किया पैसा

कृषि मंत्री ने कहा कि कृषि यंत्रीकरण, फसलों के उत्पादन व प्रसंस्करण और परिवहन का एक अहम हिस्सा तो बन गया है लेकिन पूरे विश्व में इसे दोहरी चुनौती का सामना करना पड़ रहा है। पहली चुनौती, बढ़ती हुई जनसंख्या के लिए भोजन की आपूर्ति में वृद्धि करना है और दूसरी, पर्यावरण की रक्षा और संरक्षण को लेकर है।

उन्होंने कहा कि भारत में कृषि मशीनीकरण की चुनौतियां अभी भी बरकरार हैं। हमारी अधिकांश भूमि जोत छोटी है। इसलिए व्यक्तिगत तौर पर इसका व्यावसायिक उपयोग आर्थिक तौर पर फायदेमंद साबित नहीं हो रहा है। लेकिन, छोटी जोत के वे किसान, जो महंगी कृषि मशीन नहीं खरीद सकते उनके लिए कस्टम हायरिंग केंद्र की स्थापना के माध्यम से कृषि मशीनों रोटावेटर, ब्लोस्प्रेयर, कॉटन कल्टीवेटर, कटर और श्रेडर आदि की उपलब्धता सुनिश्चित की जा रही है।

उन्होंने कहा कि देश में चार क्षेत्रीय फार्म मशीनरी प्रशिक्षण एवं परीक्षण संस्थानों की स्थापना की गई है जो कृषि मशीनीकरण क्षेत्र में कुशल श्रम शक्ति और स्टैंडर्ड एवं गुणवत्ता प्राप्त कृषि मशीनरी और उपकरणों की जरूरतों को पूरा करते है। इस तरह के संस्थान अन्य राज्यों में भी खोलने की योजना है।

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