तीन तलाक बिल पास होते ही अमेठी की महिलाओं ने PM मोदी को भेजा पत्र और मिठाई
REPORT – LOKESH TRIPATHI/AMETHI
कल राज्यसभा में मुस्लिम महिलाओं के हक़ में बहुप्रतीक्षित तीन तलाक बिल पास हो गया. जिसके चलते पूरे देश की मुस्लिम महिलाएं आप अपने आप को सुरक्षित और संरक्षित महसूस करने लगी.
ऐसे में अमेठी जनपद की सैकड़ों मुस्लिम महिलाओं ने आज भारतीय जनता पार्टी कार्यालय पहुंचकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को संबोधित पत्र एवं मिठाइयां जिलाध्यक्ष दुर्गेश त्रिपाठी के माध्यम से भिजवा कर अपनी खुशी जाहिर करते हुए इस ऐतिहासिक कदम के लिए देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के साथ अपनी सांसद एवं केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी को धन्यवाद ज्ञापित किया है। इस अवसर पर बीजेपी अल्पसंख्यक मोर्चा के जिलाध्यक्ष मोहम्मद कलीम किदवई भी मौजूद रहे।
ट्रिपल तलाक के मुद्दे पर कल आए ऐतिहासिक फैसले को लेकर लोगों ने अलग-अलग तरीके से अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त की है, अमेठी में जहां पर जनपद के दर्जनों शैक्षिक संस्थान के मालिक एवं प्रख्यात शिक्षाविद समाजसेवी ज्ञानेंद्र मनीषी ने बताया की देखिए प्रतिक्रिया का जहां तक सवाल है यह तो बहुत पहले हो जाना चाहिए था.
यह राष्ट्रीय हित का मसला है ऐसे में मुस्लिम हो या हिंदू सभी राष्ट्रीय विचारधारा के हैं जब देश खतरे में होता है तो हम सब एक होते हैं यहां पर पूर्ववर्ती सरकारों ने यदि इस बिल को ध्यान में नहीं रखा और ऐसा कानून नहीं बनाया तो यह अब तक उनकी असफलता थी कि वह पूरी आबादी को ध्यान में रखकर निर्णय नहीं ले रहे थे.
लेकिन भाजपा की सरकार ने प्रयास करके इस बिल को पास कराया है इसके लिए वह बहुत बहुत साधुवाद और बधाई के पात्र हैं और इस तरह के फैसलों पर अमल होना भी बहुत आवश्यक है इस बात को मैं रख रहा हूं कि इस पर अमल भी हो और बिल भी बने इसकी स्वीकार्यता ही सभी मुस्लिम भाइयों को होनी चाहिए क्योंकि यह मुस्लिम महिलाओं को हर क्षेत्र में आगे बढ़ने में सहायक होगा।
वहीं पर अमेठी से कांग्रेस के नेता ने इसको तुष्टीकरण तथा छलावा की नीति बताते हुए कहा कि यह हिंदुस्तान है इसमें बहुत कुछ प्रायोजित होता है राजनीति में आए दिन निष्ठाए बदलती हैं और समस्याएं बदलती हैं यह मुसलमानों को तोड़ने का एक कार्यक्रम है और यह जो हिंदूवादी पार्टी बीजेपी है इसमें एक नया खेल रचा है.
यह एक तरह से मुसलमानों को परोक्ष रूप से धमकी है हमारी कांग्रेस पार्टी चाहती है सबको साथ लेकर एक प्रवर समिति मै जाता और मुद्दे पर विधिवत चर्चा होती सबका हित अनहित देखकर तक कोई निर्णय लिया जाता इससे मुस्लिम महिलाओं को कोई लाभ नहीं मिलेगा इस देश में कानून दो तरह के होते हैं.
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एक लिखित कानून जो संविधान के द्वारा गाइड होता है और एक अलिखित परंपरा होती है और अलिखित परंपराएं कभी-कभी कानून के ऊपर हो जाती हैं किसी से आदर सम्मान से प्रणाम करना यह हमारी अलिखित परंपरा है प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का यह कदम बिल्कुल स्वागत योग्य नहीं है हम और हमारी पार्टी इससे मतभेद रखते हैं.
यह अपने स्वागत के लिए और वोट राजनीति के लिए ही किया गया है और स्वागत खुद ही करवाना है तो प्रायोजित स्वागत कारवा ले बीजेपी के पास ऐसी कौन सी वजह थी जिससे कि इसको एक दिन में ही पारित करा लिया जाने की जल्दी थी।