सीएम योगी के सामने टीचर ने रखा शिशु मंदिर के प्रधानाचार्य का काला सच

प्रधानाचार्य का काला सचलखनऊ। एक तरफ सीएम योगी एंटी रोमियो टीम बनाकर प्रदेश की महिलाओं को सुरक्षा देने के लिए प्रयासरत हैं। तो वहीँ दूसरी तरफ योगी राज में चंदौली की छेड़खानी पीड़िता न्याय के लिए दर-दर भटक रही है। यह मामला चंदौली के सरस्वती शिशु मंदिर से सामने आ रहा है। जहां शिक्षिका के साथ छेड़खानी हुई है पर उसे न्याय नहीं मिल पा रहा है। हैरानी की बात यह है कि यह घटना ऐसे विद्यालय में घटी जो संघ द्वारा संचालित होने के साथ ही लोग इसे संस्कारशाला भी मानते हैं। सरस्वती शिशु मंदिर की एक शिक्षिका ने विद्यालय के प्रधानाचार्य पर छेड़खानी का आरोप लगाया है।

दर-ब-दर भटकती रही महिला को जब न्याय नहीं मिला तो थक हार कर उसने सोशल मीडिया के ज़रिए अपनी बात को सीएम तक पहुंचाने का प्रयास किया। हालांकि, मामले को तूल पकड़ता देख आला अधिकारियों के निर्देश पर चंदौली कोतवाली में मामला तो दर्ज कर लिया है, लेकिन पुलिस कार्रवाई से बच रही है।

पीड़ित युवती ने बताया कि प्रधानाचार्य बीते कई दिनों से परेशान कर रहे थे। लेकिन कुछ दिन पहले उन्होंने उसे अकेला पाकर उसके साथ छेड़छाड़ की। किसी तरह उनके चुंगल से निकलकर उसने सारी बात अपनी मां को बताई। तभी से यह मां-बेटी पुलिस थाने के चक्कर काट रही हैं। लेकिन पुलिस ने अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की है।

पीड़िता ने कहा कि पहले सबकुछ सही था, पर जब प्रधानाचार्य को उसकी माली हालत का पता चला तो वह युवती को पैसे का लालच देने लगा और कई बार तो उसे बाहर तक ले जाने की पेशकश भी की। युवती के मना करने के बाद उसे आफिस में अकेला पाकर उससे छेड़खानी करने लगा।

युवती की मां ने बताया कि उसे लगातार डराया धमकाया जा रहा है और पुलिस एफआईआर तक दर्ज नहीं कर रही थी। बाद में आला अधिकारियों के हस्तक्षेप के बाद मामला दर्ज तो कर लिया गया, लेकिन आरोपियों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गयी।

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