सुप्रीम कोर्ट ने जेपी ग्रुप को लगाई फटकार, कहा- 2000 करोड़ ‘अच्छे बच्चे बनकर’ जमा करें

जेपी ग्रुपनई दिल्ली। रियल एस्टेट कंपनी जेपी ग्रुप दिवालिया होने की कगार पर खड़ी है। सुप्रीम कोर्ट ने इसे 31 दिसंबर तक हर हाल में 275 करोड़ रुपए जमा करने के निर्देश दिए हैं। बुधवार को सुनवाई करते हुए कोर्ट ने कहा ग्रुप के निदेशकों को पैसे जमा करने के लिए काफी बार कहा जा चुका है। लेकिन अभी तक कंपनी ने एक रुपए भी जमा नहीं किया है।

कोर्ट ने कहा है कि अब मामले की अगली सुनवाई 10 जनवरी को होगी। इसके साथ ही कोर्ट ने जेपी एसोसिएट्स को फटकार लगाते हुए ‘एक अच्छे बच्चे की तरह व्यवहार’ करने की नसीहत दी।

अपनी संपत्ति नहीं बेच सकते प्रमोटर्स

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि कंपनी के प्रमोटर और स्वतंत्र निदेशक पैसा जमा करने के लिए अपनी या परिवार के अन्य सदस्यों की संपत्ति को बिना कोर्ट की अनुमति के नहीं बेच सकेंगे। शीर्ष अदालत ने जेपी इंफ्राटेक को अपने रिकॉर्ड इंटरिम रिजोल्यूशन प्रोफेशनल (आईआरपी) को सौंपने को कहा है।

जिससे 32000 फ्लैट खरीदारों और निवेशकों के हितों की रक्षा हो सके। अदालत ने कंपनी के खिलाफ किसी भी उद्देश्य के लिए किसी भी फोरम जैसे उपभोक्ता फोरम आदि पर होने वाली सुनवाई पर रोक लगा दी है।

आईआरपी को कंपनी के प्रबंधन का पूरा जिम्मा सौंपा गया है। कोर्ट ने वरिष्ठ वकील शेखर नफाड़े को आईआरपी की सुनवाई के लिए अमाइकस क्यूरी बनाया गया है। शेखर खरीदारों के हितों की रक्षा के लिए एक प्रस्ताव तैयार करेंगे।

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