दलित छात्रों को समय पर नहीं मिल रहा छात्रवृत्ति- सुप्रिया श्रीनेत

दिलीप कुमार

कांग्रेस राष्ट्रीय प्रवक्ता सुप्रिया श्रिनेत ने गुरूवार को पार्टी कार्यालय पर पत्रकारवार्ता के दौरान कहा कि मोदी सरकार में दलितों पर अत्याचार बढ़े हैं और दलित कल्याण से जुड़ी विभिन्न योजनाओं के लिए केंद्रीय बजट घटा दिया है।

पीएम मोदी और उनकी सरकार आज धूमधाम से बाबा साहब अंबेडकर की जयंती मना रही है लेकिन सच्चाई यह है कि भारतीय जनता पार्टी सरकार की नीतिया दलित विरोधी है, इस लिए उनको न्याय नही मिल रहा है।

उन्होंने दलित महिलाओं कि मौजूदा स्थित को लेकर कहा कि आज औसतन 10 महिलाओं से रोज दुष्कर्म हो रहा है। दलितों पर अत्याचार बढ़े हैं और दलित परिवारों में 22 प्रतिश छोटे बच्चों का यौन शोषण होता है। कमाल की बात यह है कि जब उनके साथ ऐसा होता है तो पुलिस प्रशासन पीड़ित, कमजोर दलितों को ही प्रताड़ित करता है और उन्हें गलत साबित करने की कोशिश होती है।

श्रीनेत ने कहा कि भाजपा दलित विरोधी है और यह उसके काम में भी प्रतिबंधित होता है। दलितों के लिए केंद्रीय बजट घट रहा है और दलित परिवारों की बच्चियों को पढ़ाने के लिए प्रेरित करने वाली योजना का बजट कम हो रहा है।

उन्होंने मीडिया का ध्यान दलित छात्र और छात्राओं की ओर आकर्षित करते हुए कहा कि उन्हें छात्रवृत्ति भी समय पर नहीं दी जा रही है। पोस्ट मैट्रिक छात्रवृत्ति का आवंटन घटा है। प्री मैट्रिक छात्रवृत्ति का पैसा भी नौ राज्य तथा केंद्र शासित प्रदेशों तक नहीं पहुंचा है।

मैला ढोने की प्रथा का चर्चा करते हुए उन्होने कहा कि 2015-2020 तक 325 लोगों की मौत सेप्टिक टैंक में काम करने के दौरान हुआ है। सेप्टिक टैंक की सफाई और मैला ढोना एक ही तरह के काम हैं लेकिन सरकार इसे अलग-अलग बताती है और झूठ बोलती है कि देश में मैला ढोने की प्रथा अब नहीं है।

उन्होंने कहा कि दलितों के लिए पुनर्वास का आवंटन भी सरकार ने आधा किया है। सरकार दलितों को उनके अधिकारों से वंचित करके उनकी धज्जियां उड़ा रही है।

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