
देहरादून के सहस्त्रधारा रोड पर विगत सात मई को हुई समरजहां की हत्या में पुलिस कई दावे कर रही है। बकौल पुलिस इस साजिश में दवा कारोबारी के बेटे का नाम सामने आ रहा है जो अपने अधिकारों में हुई कटौती से बेहद आक्रोशित था। सूत्रों का दावा है कि पुलिस आज मामले का खुलासा कर सकती है। वहीं गुरुवार देर रात गोलियां बरसाने वाला शूटर भी पुलिस के हत्थे चढ़ गया है। जबकि सुपारी लेने वाले बदमाश की तलाश में मुजफ्फरनगर में एसओजी की दबिश चलती रही। हत्याकांड में कई अन्य नाम भी सामने आए हैं।
सहस्त्रधारा रोड पर कार सवार बदमाश ने मुजफ्फरनगर के न्याजूपुरा निवासी समरजहां उर्फ रिहाना की तीन गोली मारकर हत्या कर दी थी। समरजहां मुजफ्फरनगर के दवा कारोबारी राकेश कुमार गुप्ता के साथ दून में लिव इन रिलेशन में रहती थी। गुप्ता अब सहस्त्रधारा रोड स्थित अपने फैमिली रेस्टोरेंट के बराबर में समरजहां के लिए बुटीक सेंटर बनवा रहे थे। रेस्टोरेंट चलाने वाले गुप्ता के बेटे कार्तिक ने समरजहां की हत्या में अज्ञात बदमाशों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया था।
पुलिस ने घटना वाली रात हत्या के कारणों का पता लगाने के लिए गुप्ता परिवार पर फोकस कर दिया था। पुलिस को यह जानकारी हो गई थी कि समरजहां से रिश्ते को लेकर गुप्ता परिवार में काफी समय से कड़वाहट चल रही थी। पुलिस को उम्मीद थी कि हत्या के तार इस परिवार से भी जुड़े हो सकते हैं। प्राथमिक जांच में सच बाहर नहीं आया तो पुलिस ने समरजहां के एक अन्य करीबी की तरफ जांच की दिशा घुमा दी। तीसरे दौर की बातचीत में गुप्ता परिवार के एक शख्स के बयानों में विरोधाभास आया तो पुलिस ने नए सिरे से शिकंजा कस दिया।
पुलिस पूछताछ में घटना से जुड़े शख्स के टूटने में देर नहीं लगी और घटना से जुड़ा हर सच बताता चला गया। उससे साफ हो गया कि समरजहां की हत्या सुपारी देकर कराई गई है। इसी आधार पर पुलिस बृहस्पतिवार को सुपारी लेने वाले बदमाश और शूटर की तलाश में मुजफ्फरनगर और रुड़की में कार्रवाई करती रही। क्योंकि उनकी गिरफ्तारी के बाद पूरी तस्वीर साफ हो पाएगी। इसी बीच बृहस्पतिवार देर रात एक शार्प शूटर के पकड़े जाने की खबर आती रही। सूत्रों का कहना है कि समरजहां की हत्या में यही शूटर शामिल है। हालांकि पुलिस अधिकारी इससे इनकार करते रहे।
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समरजहां हत्याकांड में पश्चिमी यूपी के दो माफियाओं से जुड़े लोगों के नाम उछलने पर एक बार पुलिस भी गफलत में आ गई थी, क्योंकि इस गठजोड़ को गले उतारना किसी के लिए आसान नहीं था। माथापच्ची के बाद यह गुत्थी सुलझ पाई कि अब कौन-किस पाले में खड़ा है? उधर, हत्याकांड से प्रत्यक्ष-अप्रत्यक्ष रूप से जुड़ा हर शख्स मुजफ्फरनगर से ताल्लुक रखता है। इसी को ध्यान में रखकर दून पुलिस दो दिन से वहीं फोकस कर इस आपरेशन को अंजाम देने में जुटी हुई है।
पुलिस ने हत्याकांड की गुत्थी लगभग सुलझा ली है। अब कार्रवाई को लिखा-पढ़ी में लाना बाकी है। प्राथमिक जांच में जब सुपारी किलर का नाम आया तो उसकी पूरी पृष्ठभूमि पता लगाने में देरी नहीं लगी। क्याेंकि सुपारी लेने वाले शख्स का पुराने माफिया सरगना से जुड़ाव किसी से छिपा नहीं है। जांच आगे बढ़ी तो सुपारी में मध्यस्थता करने वाले शख्स का नाम सुन पुलिस की मुश्किल बढ़ गई, क्योंकि वह लंबे समय दूसरे माफिया सरगना के पाले में है। एक बार तो यूपी पुलिस के दिग्गज समझ नहीं पाए कि यह किस तरह का घालमेल है। उनसे जुड़ाव रखने वाले कई संदिग्धों से पूछताछ हुई तो साफ हुआ कि वक्त के साथ इनके रिश्ते भी बदल गए हैं, तब जाकर कार्रवाई आगे बढ़ पाई।
एक दिलचस्प पहलू यह भी है कि समरजहां हत्याकांड से जुड़ा हर किरदार मुजफ्फरनगर से ताल्लुक रखता है। वारदात का शिकार हुई समरजहां उर्फ रिहाना मुजफ्फरनगर के न्याजूपुरा की थी। जबकि दवा कारोबारी राकेश कुमार गुप्ता भी मुजफ्फरनगर के हैं। कत्ल की सुपारी देने वाले से लेकर सुपारी लेने वाले और कत्ल की घटना को अंजाम देने वाला हर शख्स वहीं से जुड़ा है। यही वजह है कि पुलिस को कार्रवाई के लिए पूरा फोकस मुजफ्फरनगर पर ही करना पड़ा।
हत्याकांड में शामिल बदमाशों को लेकर पुलिस की थ्योरी बृहस्पतिवार रात को बदल गई है। प्रत्यक्षदर्शियों ने कार में एक ही हत्यारोपी के शामिल होने की बात बताई थी। अब घटनास्थल पर दो युवकों के शामिल होने की बात सामने आ रही है। समरजहां की हत्या में प्रयुक्त कार भगवानपुर के एक व्यापारी की बताई गई है। व्यापारी मूल रूप से मुजफ्फरनगर के चरथावल क्षेत्र का है। हालांकि अभी तक यह साफ नहीं हो पाया कि व्यापारी की कार कैसे बदमाशों के पास पहुंची। पुलिस देर रात तक कार की बरामदगी में जुटी रही।
पुलिस जांच में आया है कि समरजहां और दवा कारोबारी के बेटे कार्तिक गुप्ता के बीच गल्ले से रकम निकालने को लेकर झगड़ा हुआ था। रुड़की से देहरादून आने के बाद समरजहां दिनभर रेस्टोरेंट में बैठती थी। पुलिस सूत्रों का कहना है कि एक दिन समरजहां ने कार्तिक से बिना पूछे गल्ले से रकम निकाल ली। इसी बात को लेकर दोनों में विवाद हो गया था, जो बाद में परिवार में बड़ी कलह का कारण बन गया था। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक निवेदिता कुकरेती ने कहा कि हत्याकांड में पुलिस के हाथ महत्वपूर्ण सुराग लगे हैं। कई संदिग्धाें से पूछताछ की जा रही है। जल्द खुलासा होने की उम्मीद है।