न दूल्हा जिंदा होता है न दुल्‍हन, फिर भी धूमधाम से होती है शादी

मरे हुए इंसानसहारनपुर।  दुनिया भर में अलग-अलग नाम से हर धर्म में शादी-ब्‍याह की रस्‍म को निभाया जाता है, इस दौरान मां-बाप अपने बच्‍चों की हर ख्‍वाहिश पूरी करने की कोशिश करते है और धूमधाम से यह रस्‍म निभाई जाती है। लेकिन क्या आपने कभी किसी मरे हुए इंसान की शादी के बारे में सुना है। यह जानकार एक बार तो आप भी हैरान हो जाएंगे, लेकिन यूपी में एक जगह ऐसी भी है जहां ये बात सच साबित होती है।

यूपी के सहारनपुर जिले में नटबाजी समाज वर्षों पुरानी परम्पराओं को आज भी बखूबी निभा रहा है। नटबाजी समाज में सिर्फ जिंदा ही नहीं बल्कि मर चुके बच्चों की शादी भी बेहद धूमधाम से करने की अनोखी परम्परा है।

कुछ महिनों पहले ही मीरपुर के रामेश्वर ने 18 साल पहले मर चुकी अपनी बेटी की शादी हरिद्वार के गांव में रहने वाले तेजपाल के मृत बेटे के साथ हिन्दू रीति-रिवाज के साथ कराई। इस समुदाय में यह परम्परा सादियों से चल आ रही है। यहां मंडप में दूल्हा-दुल्हन की जगह गुड्डा-गुड़िया को उनके प्रतीक के रूप में रखा जाता है।

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