फ्लोर टेस्ट से पहले बिहार स्पीकर को हटाया गया, विपक्ष के 3 विधायक NDA खेमे में, सदन में नितीश पर बरसे तेजस्वी

नीतीश कुमार के विश्वास मत से ठीक पहले सोमवार को लालू प्रसाद यादव की पार्टी राजद के अवध बिहारी चौधरी को बिहार विधानसभा अध्यक्ष पद से हटा दिया गया। इसके अलावा, राजद के तीन विधायक कुमार के नेतृत्व वाले एनडीए में शामिल हो गए, जिससे विपक्ष के महागठबंधन गठबंधन को बड़ा झटका लगा। राज्य विधानसभा में आज होने वाले महत्वपूर्ण शक्ति परीक्षण से पहले नीतीश कुमार के पास पूर्ण बहुमत है। एनडीए गठबंधन को जीत के लिए 122 के बहुमत की जरूरत है और सूत्रों ने बताया कि नीतीश कुमार के पास 127 विधायकों का समर्थन है।

बिहार विधानसभा में सोमवार को राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) की ओर से स्पीकर अवध बिहारी चौधरी के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव पारित हो गया और उन्हें उनके पद से हटा दिया गया। लालू प्रसाद यादव के पक्ष को दोहरी मार झेलनी पड़ी क्योंकि उनके तीन विधायकों ने पार्टी छोड़ दी और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नेतृत्व वाले एनडीए में शामिल हो गए।

अविश्वास प्रस्ताव के पक्ष में 125 और विरोध में 112 सदस्यों ने वोट किया। बता दें की दिन की शुरुआत में विधानसभा की कार्यवाही शुरू होते ही नीलम देवी, चेतन आनंद और प्रह्लाद यादव को नवगठित एनडीए सरकार के पक्ष में बैठे देखा गया।

राजद नेता तेजस्वी यादव ने पाला बदल कर मुख्यमंत्री पद की कई बार शपथ लेने को लेकर नीतीश कुमार का मजाक उड़ाया। उन्होंने कहा, “मैं इस नई सरकार के खिलाफ खड़ा हूं। मैं 9 बार शपथ लेकर इतिहास रचने के लिए सीएम नीतीश कुमार को धन्यवाद देना चाहता हूं।” तेजस्वी ने नीतीश कुमार से पूछा, “बिहार में लोग जानना चाहते हैं कि आप बार-बार पाला क्यों बदलते हैं।”

तेजस्वी यादव ने बिहार विधानसभा को संबोधित करते हुए पूछा, “क्या पीएम मोदी गारंटी देंगे कि नीतीश कुमार पलटेंगे नहीं?” तेजस्वी यादव ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर अपने राजनीतिक फायदे के लिए पाला बदल कर राज्य को भ्रम की स्थिति में छोड़ने का भी आरोप लगाया।

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