प्रधानमंत्री मोदी ने जनवरी में ही कर दिया था सबको अलर्ट, लेकिन

नई दिल्ली। देश में जो पहले कभी ना था वो सब कुछ आज है । पहले हमारे देश में कभी भी एन – 95 मास्क की जरुरत नहीं पड़ी। आज यहां पर ऐसे मास्क बनाने वाली 30 फैक्ट्रियां हैं। कोरोना वायरस से लड़ने के लिए पर्सनल प्रोटेक्शन इक्विपमेंट (PPE) किट बनाने वाली 30 फैक्ट्रियां हो गईं। वायरस को टेस्ट करने के लिए पुणे में एक लैब थी और अब डेढ़ सौ लैब हैं।

केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर  ने एक फेसबुक लाइव के दौरान कोरोना के खिलाफ चल रही लड़ाई में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के कई अहम कार्यों को गिनाया. जावड़ेकर ने कहा कि कोरोना के खिलाफ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने जिस तरह से नेतृत्व क्षमता दिखाई है, उसने उन्हें वैश्विक स्तर पर स्थापित कर दिया है.

प्रधानमंत्री मोदी

जावड़ेकर ने कहा, ‘प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर हमें नाज होना चाहिए. जनवरी में ही बैठक लेकर हम सबको बता दिया था कि यह बीमारी आएगी और सबको तकलीफ देगी. उस वक्त हमें भी विश्वास नहीं हो रहा था. उन्होंने उसी समय मन में तैयारियां कर लीं थीं. भारत ने हवाई जहाज से आने वालों की जांच शुरू कर दी. सोशल डिस्टेंसिंग पर तभी से जोर दिया दिया जाने लगा.

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तब सोशल डिस्टेंसिंग जैसी बात किसी को पता नहीं थी. उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी को मालूम था कि जिस अस्पताल में दूसरे मरीज हैं, वहां अलग वार्ड में कोरोना के मरीजों को रखना उचित नहीं है. यही वजह है कि उन्होंने ऐसे मरीजों के लिए मानेसर सहित नए स्थानों की खोज की और नए बैडों की भी व्यवस्था की. घर में मास्क बनाने की पहल शुरू भी कराई और दवाओं का भी स्टॉक रहने का काम फरवरी से शुरू कर दिया.

 

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