
पीलीभीत की तीन तलाक पीड़िता रेशमा ने बुधवार को धर्म परिवर्तन कर पीलीभीत के ही दीपू से बरेली के मंदिर में शादी कर ली। वह नाम बदलकर रेशमा से रानी बन गई है। लेकिन तीन तलाक पीड़िता का हाथ थामने के बाद दीपू को धमकियां मिल रही हैं।
दोनों ने एडीजी दफ्तर में पत्र देकर सुरक्षा मांगी है। हालांकि अधिकारी ऐसा पत्र मिलने से इंकार कर रहे हैं। एडीजी के पीआरओ विप्लव शर्मा ने कहा कि नवदंपती आएंगे तो उनकी सुरक्षा को लेकर संबंधित थाना पुलिस को निर्देश दिए जाएंगे।
पीलीभीत शहर के मोहल्ला देशनगर की रेशमा पुत्री मोहम्मद इस्लाम का निकाह तीन साल पूर्व कांशीराम कॉलोनी ईदगाह निवासी मोहम्मद रईस से हुआ था। आरोप है कि निकाह के बाद से ही रईस प्रताड़ित करने लगा और 5 अप्रैल 2019 को रईस ने रेशमा को तीन तलाक दे दिया।
सात माह पहले ही रेशमा की मुलाकात कांशीराम कॉलोनी ईदगाह निवासी दीपू उर्फ दीपक राठौर से हुई थी। दोनों एकदूसरे को पहले से जानते थे। बुधवार शाम बरेली की बड़ी बमनपुरी स्थित एक मंदिर में रेशमा ने पहले हिंदू धर्म अपनाया और नया नाम रानी रख लिया।
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इसके बाद दीपू के साथ शादी रचा ली। दीपू ने बताया कि दोनों अलग समुदाय के हैं इसलिए उन्हें धमकियां मिल रही हैं। उनकी जान का खतरा है। विवाह कराने वाले अखिल भारतीय हिंदू महासभा के वरिष्ठ प्रदेश उपाध्यक्ष पंडित केशव शंखधार ने बताया कि रेशमा परेशान थी। दीपू ने उसे सहारा
दिया है।