जानिए कार्तिक पूर्णिमा की सही पूजन विधि व महत्व
कार्तिक पूर्णिमा व्रत की पूजन विधि
पूर्णिमा के दिन सुबह किसी पवित्र नदी, सरोवर या कुंड में स्नान करना बहुत शुभ माना जाता है. स्नान के बाद राधा-कृष्ण का पूजन और दीपदान करना चाहिए. मान्यता है कि इस दिन गाय, हाथी, घोड़ा, रथ और घी का दान करने से संपत्ति बढ़ती है और भेड़ का दान करने से ग्रहयोग के कष्टों दूर होते हैं. कहा जाता है कि कार्तिक पूर्णिमा का व्रत करने वाले अगर बैल का दान करें तो उन्हें शिव पद प्राप्त होता है. कार्तिक पूर्णिमा का व्रत रखने वालों को इस दिन हवन जरूर करना चाहिए और किसी जरुरतमंद को भोजन कराना चाहिए।
- कार्तिक पूर्णिमा के दिन सूर्योदय से पहले उठकर पवित्र नदी में स्नान करें.मान्यता है कि इस दिन पवित्र नदियों में स्नान करने से पुण्य की प्राप्ति होती है.अगर पवित्र नदी में स्नान करना संभव नहीं तो घर पर ही नहाने के पानी में गंगाजल मिलाकर स्नान करें.
- रात्रि के समय विधि-विधान से भगवान विष्णु और मां लक्ष्मी की पूजा करें
- सत्यनारायण की कथा पढ़ें, सुनें और सुनाएं
- भगवान विष्णु और मां लक्ष्मी की आरती उतारने के बाद चंद्रमा को अर्घ्य दें
- घर के अंदर और बाहर दीपक जलाएं
- घर के सभी सदस्यों में प्रसाद वितरण करें
- इस दिन दान करना अत्यंत शुभ माना जाता है.किसी ब्राह्मण या निर्धन व्यक्ति को भोजन कराएं और यथाशक्ति दान और भेंट देकर विदा करें
- कार्तिक पूर्णिमा के मौके पर दीपदान करना भी बेहद शुभ माना जाता है
- महिलाओं को गरीब लोगों को खाना खिलाना चाहिए
कार्तिक पूर्णिमा का महत्व
कार्तिक पूर्णिमा के दिन गंगा स्नान और दान करना दस यज्ञों के समान पुण्यकारी माना जाता है. शास्त्रों में इसे महापुनीत पर्व कहा गया है. कृतिका नक्षत्र पड़ जाने पर इसे महाकार्तिकी कहते हैं. कार्तिक पूर्णिमा अगर भरणी और रोहिणी नक्षत्र में होने से इसका महत्व और बढ़ जाता है. कार्तिक पूर्णिमा के दिन ही देव दीपावली भी मनाई जाती है.
पुराणों के अनुसार, कार्तिक पूर्णिमा की तिथि पर ही भगवान विष्णु ने धर्म, वेदों की रक्षा के लिए मत्स्य अवतार धारण किया था. मान्यता के अनुसार, कार्तिक शुक्ल पक्ष की एकादशी पर भगवान विष्णु के जागने पर देवी तुलसी का विवाह भगवान के शालिग्राम स्वरूप की हुआ था. भगवान विष्णु के बैकुंठधाम में आगमन और तुलसी संग विवाह के बाद कार्तिक पूर्णिमा के दिन पुण्य लाभ प्राप्त करने के लिए इस तिथि का विशेष महत्व होता है.