जानिए आखिर क्यों जम्मू एवं कश्मीर में राष्ट्रपति शासन का विस्तार चाहते हैं शाह

नई दिल्ली। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने शुक्रवार को 3 जुलाई से छह महीने के लिए जम्मू एवं कश्मीर में राष्ट्रपति शासन का विस्तार करने को लेकर लोकसभा में एक वैधानिक प्रस्ताव पेश किया। उन्होंने कहा कि राज्य में विधानसभा चुनाव साल के अंत तक होंगे।

शाह ने कहा कि चुनाव आयोग ने विधानसभा चुनाव स्थगित करने के लिए सहमति व्यक्त की है और इन्हें आगामी अमरनाथ यात्रा के बाद आयोजित किया जाएगा।

उन्होंने कहा, “इस समय जम्मू एवं कश्मीर में चुनाव कराना संभव नहीं है। चुनाव आयोग ने फैसला किया है कि साल के अंत तक राज्य में चुनाव कराए जाएंगे।”

शाह ने कहा, “पिछले कई दशकों से, इन महीनों के दौरान राज्य में चुनाव नहीं हुए हैं।”

राष्ट्रपति शासन को विस्तारित करने के प्रस्ताव का क्रांतिकारी सोशलिस्ट पार्टी (आरएसपी) के के. प्रेमचंद्रन और कांग्रेस के मनीष तिवारी ने विरोध किया।

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दोनों ने इस बात को दोहराया कि यदि राज्य में लोकसभा चुनाव हो सकते हैं, तो विधानसभा चुनाव अभी क्यों नहीं कराये जा सकते।

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