सोनिया गांधी ने दिया राहुल को झटका, अब उठेंगे उनके नेतृत्व पर सवाल
नई दिल्ली : कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी को अध्यक्ष का पद देने के लिए शायद अभी सोनिया गांधी नही ‘हिम्मत’ नहीं जुटा पा रही हैं। इसके चलते राहुल का प्रमोशन एक बार फिर टल गया है। अभी सोनिया गांधी ही बॉस बनीं रहेंगी।
इस बारे में जानकारों का कहना है कि पार्टी अभी यूपी, पंजाब सहित कई राज्यों के चुनावों की तैयारी में जुटी है और ऐसे में संगठन में अभी बदलाव होना सही नहीं है। वहीँ इस बारे में कांग्रेस ने संगठन चुनाव के लिए एक साल का और वक्त मांगा है।
इसके लिए पार्टी ने चुनाव आयोग को चिट्ठी भी लिखी है। संगठन चुनाव को पहले ही कांग्रेस ने एक साल के लिए टालकर दिसंबर 2016 कर दिया था। ऐसे में अब राहुल को अध्यक्ष का पद देने में देरी करना कई अटकलों को जन्म देता है साथ ही कांग्रेस उपाध्यक्ष के नेतृत्व पर और ज्यादा सवाल उठने तय हैं।
सोनिया गांधी बैठक से गायब
हालांकि, दिल्ली में हुई कांग्रेस कार्यसमित (सीडब्ल्यूसी) की सोमवार को हुई बैठक में यह मांग उठी कि अब पार्टी की कमान राहुल गांधी के हांथों में दे दी जाए। पार्टी के सदस्यों का यह मानना है कि पिछले कुछ समय में कई मुद्दों पर राहुल ने आक्रामक रुख अपनाया है। खासकर वन रैंक वन पेंशन(ओआरओपी) के मामले को उन्होंने जिस तरह से उठाया, उससे पार्टी कार्यकर्ताओं में सकारात्मक संदेश गया है।
सोनिया गांधी सीडब्ल्यूडी बैठक में स्वास्थ्य कारणों की वजह से नहीं पहुँच पाई थीं। इसके बाद यह लगभग तय हो गया था कि अभी राहुल गांधी को उपाध्यक्ष का पद ही संभालेंगे।
इस मुद्दे पर पार्टी के सूत्रों का कहना है कि पार्टी को अगले साल होने वाले चुनावों पर फोकस करना है और संगठन चुनाव कराने के लिए बहुत कम वक्त बचा है।