लखनऊ। स्किन से जुड़ी बीमारियां भी कई बार गंभीर समस्या बन जाती है। ऐसी ही एक समस्या है एक्जीमा या दाद, इस पर होने वाली खुजली और जलन दाद से पीडि़त व्यक्ति का जीना मुश्किल कर देती है। इचिंग स्किन (Itching Skin) को मेडिकल भाषा में प्रूरिट्स (Pruritus) कहा जाता है। त्वचा में खुजलाहट के अनुभव को ही इचिंग स्किन कहा जाता है। ऐसी स्थिति में हम स्किन में हो रही खुजली को शांत करने के लिए त्वचा को नोचने तक पर मजबूर हो जाते हैं।
खुजली और जलन की शिकायत
स्किन में खुजली और जलन की शिकायत के कई कारण हैं। अगर खुजली लगातार हो रही है तो यह लिवर और किडनी की बीमारी भी हो सकती है। वैसे आमतौर पर स्किन मे इचिंग एलर्जी, स्किन रैशज और डर्माटिटीस (चर्म रोग) की वजह से होती है। खुजली और जलन की शिकायत पूरे बदन में या किसी खास एक अंग में भी हो सकती है।
कई प्रकार की होती है खुजली
बिना दाने या दाने वाली खुजली के कारण खुजली के अन्य लक्षण उत्पन्न होते हैं। खुजली पूरी त्वचा, सिर, मुख, पांव, अंगुलियों, नाक, हाथ या प्रजनन अंग आदि अंगों में हो जाती है। खुजली अधिकतर इन्हीं स्थानों पर होती है
इन कारणों से होती है खुजली
शुष्क त्वचा (Dry Skin)- ड्राई स्किन वाले लोगों को खुजली की शिकायत ज्यादा होती है। उन्हें तापमान अनुकूल नहीं मिलने की वजह से भी परेशानी होती है। गर्मी में अधिक ताप होने से हर समय पसीना आता रहता है। बाहर से घर लौटने पर सारा शरीर पसीने से भीगा होता है, लेकिन एसी, पंखे व कूलर की ठंडी हवा से कुछ देर में पसीना सूख जाता है। शरीर पर पसीना सूख जाने से खुजली होती है।
जाड़े में सर्द हवा के प्रकोप से जब त्वचा शुष्क होकर फटने लगती है जिस वजह से खुजली की समस्या होती है वहीं गर्मी में घमोरियां इसका एक अन्य कारण है।
त्वचा की बीमारी और प्रकृति- आमतौर पर स्किन की बीमारियां खुजली उत्पन्न करती हैं। मसलन-
डर्माटिटीस (Dermatitis): त्वचा की सूजन
एक्जिमा (Eczema): यह स्किन का क्रॉनिक रोग है। इसमें खुजली, चकत्ते और स्किन रैशेज होता है।
सोरायसिस (Psoriasis): यह इम्यून सिस्टम कमजोर हो जाने के कारण होता है। इसमें स्किन लाल हो जाती है और जलन का भी अनुभव होता है।
उपाय :-
- स्किन को हाइड्रेटेड रखने के लिए मॉइश्चराइजर का इस्तेमाल करें
- बेकिंग सोडा, खुजली की समस्या को कम करता है
- एंटी इचिंग ओटीसी क्रीम का इस्तेमाल कर सकते हैं
- ब्लड इंफेक्शन से खुजली होने पर नीम के पत्ते और काली मिर्च के दाने पीसकर पानी के साथ सेवन करें
- नीम के पत्तों को पानी में उबालकर, छानकर स्नान करने से खुजली खत्म होती है
- नारियल के तेल में कपूर मिलाकर मालिश करने से खुजली से राहत मिलती है
- नीम के पेड़ पर पकी निबौली खाने से खुजली कम होती है
- सुबह-शाम टमाटर का रस पीने से खुजली खत्म होती है
- डॉक्टर की सलाह से एंटी एलर्जिक दवाई लें
- खुजली से निपटने के लिए सामान्य टिप्स (Tips for Itching Skin)
- अधिक फल-सब्जियों का सेवन करें
- खुजली वाले जगह को ज्यादा नोचें या स्क्रैच नहीं करें
- साबुन, डिटर्जेंट, और परफ्यूम से दूर ही रहें
- जाड़े में प्रतिदिन स्नान से पहले सरसों व तिल के तेल से मालिश करें
- चमेली के तेल में नीबू का रस मिलाकर मालिश करने के बाद स्नान करें
- दाद पर अनार के पत्तों को पीसकर लगाने से लाभ होता है।
- दाद होने पर गर्म पानी में अजवाइन पीसकर लेप करें। एक सप्ताह में ठीक हो जाएगा।
- अजवाइन को पानी में मिलाकर दाद धोएं।
- दाद में नीम के पत्तों का १२ ग्राम रोज पीना चाहिए।
- दाद होने पर गुलकंद और दूध पीने से फायदा होगा।
- नीम के पत्ती को दही के साथ पीसकर लगाने से दाद जड़ से साफ हो जाते है।
- दाद को खुजला कर दिन में चार बार नींबू का रस लगाने से दाद ठीक हो जाते हैं।
- केले के गुदे में नींबू का रस लगाने से दाद ठीक हो जाता है।
- चर्म रोग में रोज बथुआ उबालकर निचोड़कर इसका रस पीएं और सब्जी खाएं।
- गाजर का बुरादा बारीक टुकड़े कर लें। इसमें सेंधा नमक डालकर सेंके और फिर गर्म-गर्म दाद पर डाल दें।
- कच्चे आलू का रस पीएं इससे दाद ठीक हो जाते हैं।
- नींबू के रस में सूखे सिंघाड़े को घिस कर लगाएं। पहले तो कुछ जलन होगी फिर ठंडक मिल जाएगी, कुछ दिन बाद इसे लगाने से दाद ठीक हो जाता है।
- हल्दी तीन बार दिन में एक बार रात को सोते समय हल्दी का लेप करते रहने से दाद ठीक हो जाता है।