
नई दिल्ली। ब्यूरो सरकारी विज्ञापनों में सार्वजनिक कोष के गलत इस्तेमाल के मामले में दिल्ली सरकार ने उपराज्यपाल अनिल बैजल के कहने पर आम आदमी पार्टी को रिकवरी नोटिस भेज उनसे वसूली की कार्रवाई शुरू कर दी है।
यह कार्रवाई कांग्रेस अध्यक्ष अजय माकन की दायर याचिका पर की गई है। केजरीवाल सरकार ने सुप्रीम कोर्ट द्वारा निर्धारित विज्ञापन नीति का दुरूपयोग किया है जिसके चलते सुप्रीम कोर्ट की तीन गठित सदस्यीय निगरानी समिति की जांच में गलत विज्ञापनों पर की गई खर्च राशी को लेकर यह कदम उठाया है।
16 सितंबर 2016 में समिति द्वारा सौंपी गई रिपोर्ट में केजरीवाल सरकार को दिल्ली से बाहर संचार माध्यमों मे विज्ञापन जारी करने और उनमे आप का ज़िक्र करने, दूसरे राज्यों कि घटनाओं पर मुख्यमंत्री के विचारों को लेकर गलत टिप्पणी और विज्ञापन जारी करने और सरकारी विज्ञापनों में दूसरी विपक्षी पार्टीयों पर निशाना साध कर उन पर टिप्पणी करने पर उन्हे दोषी माना गया है।
इन सभी विज्ञापनों पर 97 करोड़, 14 लाख 69 हज़ार, 137 करोड़ की वसूली की बात कही गई जिसमें से 42 करोड़ 26 लाख 81 हज़ार 265 रूपये का भुगतान इनसे संबंधित विज्ञापन एजेंसियों को पहले ही कर दिया है।
बची हुई राशी का भुगतान संबंध विज्ञापन एजेंसियों को 30 दिन के अन्दर देने को कहा है। निदेशालय ने नोटिस में विज्ञापन एजेंसियों को यह कहा है कि यदि आंकी गई राशी पूर्वनिर्धारित राशी से कम है तो वह इसे आम आदमी पार्टी से वसूलेंगी।