उत्तर प्रदेश में उपचुनाव से पहले योगी आदित्यनाथ ने की कैबिनेट बैठक, मंत्रियों को दिए सख्त निर्देश

लोकसभा चुनावों के बाद राज्य कैबिनेट मंत्रियों की यह पहली बड़ी बैठक भी थी, जिसमें पार्टी ने 33 सीटें जीतीं, जबकि 2019 में उसे 62 सीटें मिली थीं। उत्तर प्रदेश संसद के निचले सदन में 80 सदस्य भेजता है।

लोकसभा चुनाव में निराशाजनक प्रदर्शन के बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को लखनऊ में अपने कैबिनेट मंत्रियों के साथ बैठक की। जानकारी के मुताबिक बैठक खत्म हो गई है और सीएम ने सभी को आगामी उपचुनावों की तैयारियों में जुटने के निर्देश दिए हैं। साथ ही उन्होंने सभी मंत्रियों को सप्ताह में दो रातें अपने-अपने क्षेत्रों में बिताने का निर्देश दिया है। बैठक के दौरान सीएम योगी ने “ईमानदार और जीतने योग्य उम्मीदवारों” के चयन पर भी जोर दिया और कहा कि सिफ़ारिशों के ज़रिए टिकट हासिल करने वाले उम्मीदवारों को तरजीह नहीं दी जानी चाहिए। 10 सीटों पर होने वाले उपचुनावों को लेकर योगी ने सभी प्रभारी मंत्रियों से मुलाकात की और हर क्षेत्र की अलग-अलग समीक्षा की। सीएम ने सभी समूहों को निर्देश दिया कि चुनाव खत्म होने तक वे सप्ताह में दो रातें अपने-अपने क्षेत्रों में बिताएँ। साथ ही उन्होंने सभी प्रभारी मंत्रियों को पार्टी कार्यकर्ताओं से जुड़ने का निर्देश दिया और बूथों को मज़बूत करने पर ध्यान देने की ज़रूरत पर ज़ोर दिया।

बैठक में आगामी उपचुनाव वाले निर्वाचन क्षेत्रों की जनसांख्यिकी संरचना पर भी चर्चा हुई। जानकारी के अनुसार, मंत्रियों ने विधानसभा में मुस्लिम बहुल क्षेत्रों में मुस्लिम उम्मीदवारों के चुनाव लड़ने की संभावना और विपक्षी दलों के संभावित उम्मीदवारों पर चर्चा की। मौजूदा राजनीतिक परिदृश्य और इन क्षेत्रों में विपक्षी गठबंधन के प्रभाव पर भी विचार-विमर्श किया गया। राज्य मंत्री स्वतंत्र देव सिंह ने कहा, “बैठक में विकास परियोजनाओं, बाढ़ की स्थिति आदि पर चर्चा हुई। सभी 10 सीटों के लिए आगामी उपचुनावों पर भी विचार-विमर्श हुआ।”

इस सप्ताह की शुरुआत में, भाजपा यूपी प्रमुख भूपेंद्र सिंह चौधरी ने दावा किया कि पार्टी राज्य में 10 विधानसभा सीटों पर होने वाले आगामी उपचुनावों में जीत हासिल करेगी। लखनऊ में भाजपा की उत्तर प्रदेश कार्यसमिति की बैठक को संबोधित करते हुए, चौधरी ने पार्टी कार्यकर्ताओं से राज्य में आगामी उपचुनावों में भाजपा उम्मीदवारों की जीत सुनिश्चित करने का संकल्प लेने का आग्रह किया। गौरतलब है कि चुनाव आयोग ने अभी तक भाजपा शासित उत्तर प्रदेश में विधानसभा उपचुनावों के कार्यक्रम की घोषणा नहीं की है।

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