
साल का अंतिम सूर्य ग्रहण (Solar eclipse) शनिवार 4 दिसंबर को लगेगा। इस दिन शनि अमावस्या भी है। ऐसे में ये ग्रहण एक अद्भुत संयोग बना रहा है। हालांकि इस ग्रहण का असर भारत में नहीं पड़ेगा। ऐसे में सूतक भी नहीं माना जाएगा। मार्गशीर्ष महीने के कृष्ण पक्ष की अमावस्या में लगने वाले सूर्य ग्रहण का काफी महत्व होता है। सूतक न होने के चलते मंदिर खुले रहेंगे। घर व मंदिरों में पूजा पाठ चलते रहेंगे।

वहीं इस ग्रहण को ऑस्ट्रेलिया, दक्षिण अफ्रीका, अंटार्कटिका, दक्षिण अटलांटिक महासागर और दक्षिणी हिन्द महासागर में देखा जा सकेगा। ये सूर्य ग्रहण भारतीय समय के अनुसार लगभग 10:58 बजे से आरंभ होकर 3:06 बजे तक देखा जा सकेगा।
शनि अमावस्या के दिन किए गए खास उपाय शनि की साढ़ेसाती और ढैय्या के मुक्ति दिलाता है। शनिश्चरी अमावस्या पर सुबह से ही शनि मंदिरों में शनि देव के दर्शन-पूजन के लिए भक्तों का तांता लग जाता है। पंचामृत स्नान, तिल-तेल से शनि देव का अभिषेक किया जा जाता है। हर भक्त शनि चालीसा का पाठ करता है। वहीं, सूर्य ग्रहण और शनि अमावस्या होने के चलते दान करना बेहद शुभ माना जाता है। इस दिन श्रद्धा के मुताबिक दान करने का संकल्प लेना चाहिए। फिर जरुरतमंद लोगों को दान देना चाहिए। इस दिन तेल, जूते-चप्पल, लकड़ी का पलंग, छाता, काले कपड़े और उड़द की दाल का दान करने