“पूरी कोशिश की गई कि मैं टीम इंडिया का कोच ना बनूं”: Ravi Shastri

पूर्व कप्तान महेंद्र सिंह धोनी के सन्यास के बाद भारतीय क्रिकेट टीम बदलाव के दौर से गुज़र रही है। T-20 विश्वकप के बाद विराट कोहली (ViratKohli) ने T-20 से कप्तानी छोड़ने का फ़ैसला किया था, जिसके बाद उन्हें वनडे टीम की कप्तानी से भी हटा दिया गया है और उनकी जगह रोहित शर्मा (Rohit Sharma) को T-20 और वनडे टीम का कप्तान बनाया गया है। भारतीय टीम के कोच की बात करें तो 2017 में रवि शास्त्री (Ravi Shastri) का मुख्य कोच के तौर पर पहला कार्यकाल शुरू हुआ था। 2019 में उन्हें दोबारा नियुक्त किया गया। अब 2021 के अंत में उनकी जगह राहुल द्रविड़ (Rahul Dravid) को टीम इंडिया का मुख्य कोच नियुक्त किया गया है। शास्त्री और कोहली जोड़ी ICC की कोई भी ट्रॉफ़ी जीतने में नाकाम रही। अब शास्त्री ने एक सनसनीख़ेज खुलासा करते हुए यह बताया है की कुछ लोग उन्हें भारतीय टीम का कोच नहीं बनने देना चाहते थे।

एक इंटरव्यू में रवि शास्त्री ने कहा की, “अपने दूसरे कार्यकाल के दौरान मैं एक बड़े विवाद में उलझ गया था और यह सचमुच उन लोगों के चेहरे पर अंडा था, जो मुझे इस ज़िम्मेदारी से दूर करना चाहते थे। उन्होंने किसी को चुना और 9 महीने बादवे उसी आदमी के पास वापस आ गए जिसे उन्होंने बाहर फेंक दिया था। यह वही लोग थे जो नहीं चाहते थे कि भरत अरुण कोचिंग स्टाफ़ में आए। हां, वे मुझे भरत अरुण को गेंदबाज़ी कोच भी नहीं देना चाहते थे और आज जब मैं पीछे देखता हूँ तो लगता कि कैसे चीज़ें बदलीं। वह गेंदबाज़ी कोच के रूप में जिस शख़्स को नहीं चाहते थे। उनकी भूमिका इस रोल में शानदार रही। मैं लोगों पर कोई उंगली नहीं उठा रहा हूँ, लेकिन कुछ ख़ास लोग थे। मैं ज़रूर कहूँगा कि उन्होंने पूरी कोशिश की कि मैं टीम इंडिया का हेड कोच ना बनूं, लेकिन यही ज़िंदगी है।”

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