भाजपा-आरएसएस पर ओवैसी का बड़ा हमला, किया ‘हिंदू विचारधारा’ के खिलाफ जंग का आह्वान
नई दिल्ली। भाजपा और आरएसएस एक बार फिर AIMIM अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी के निशाने पर रहीं। ओवैसी दोनों ही पार्टियों पर जमकर बरसे। उनका कहना है कि दोनों संगठन देश से दलित और मुस्लिमों को मिटा देना चाहते हैं। अपनी बातों में उन्होंने तीन तलाक क़ानून की आलोचना की।
इतना ही नहीं ओवैसी ने शरियत क़ानून का हवाला देते हुए मुस्लिमों से ‘हिंदू विचारधारा’ के खिलाफ जंग छेड़ने का आह्वान किया। उन्होंने सभी मुस्लिमों से आगे आकर इस जंग में उनका साथ देने की भी अपील की।
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खबरों के मुताबिक़ मंगलवार को महाराष्ट्र के औरंगाबाद में एक जनसभा को संबोधित करते हुए ओवैसी ने कहा कि बीजेपी चाहती है कि यह देश दलितों और मुसलमानों से मुक्त हो जाय मगर ऐसा नहीं हो सकता है।
AIMIM सांसद ने दलितों और मुस्लिमों को जागरूक होने और हिन्दुत्व विचारधारा के खिलाफ लड़ाई छेड़ने का आह्वान किया।
तीन तलाक पर ओवैसी ने कहा कि इससे पहले भी देश में बहुत सारे कानून बने मगर क्या सामाजिक कुरीतियां खत्म हो सकीं?
उन्होंने कहा कि बीजेपी की मोदी सरकार के नए कानून के मुताबिक तीन तलाक देने पर शादी तो खत्म नहीं होगी लेकिन शौहर को तीन साल के लिए जेल जाना पड़ेगा।
उन्होंने कहा कि इस कानून से समाज में कोई बदलाव नहीं होने जा रहा, सिवाय इसके कि मुसलमानों को जेल भेजा जाएगा और महिलाओं को सड़क पर छोड़ दिया जाएगा।
ओवैसी ने कहा कि इस कानून से किसी को भी इंसाफ नहीं मिलने जा रहा है, लेकिन शरीयत कानून पर हमला जरूर हो रहा है।
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बता दें कि इससे पहले ओवैसी ने मुस्लिम समुदाय को ललकारते हुए अपनी संस्कृति को बचाने के लिए राजपूतों से सीख लेने की नसीहत दी थी।
दरअसल पद्मावती विवाद पर भड़के राजपूतों का उदाहरण देते हुए ओवैसी ने कहा था कि यदि 4 फीसदी राजपूत एकजुट होकर फिल्म रिलीज को रोकने के लिए संघर्ष कर रहे हैं तो 14 फीसदी मुस्लिम शरियत को बचाने के लिए एकजुट क्यूं नहीं हो सकते।
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