बीजेपी और कांग्रेस आए साथ, आयोग से की चुनाव टालने की मांग

नई दिल्ली। हिमाचल प्रदेश में हुए चुनाव के बाद राजनीतिक पंड़ित गुजरात में होने वाले चुनाव को लेकर कयास लगाने में लगे हैं। मुख्य लड़ाई तो भाजपा और कांग्रेस के बीच ही होनी है। दोनों पार्टीयां जीत का दावा कर रही हैं और एक दूसरे को फूटी आंख भी नहीं देखना चाहते। लेकिन इस बीच दोनों ही पार्टियों ने एक काम साथ में किया है। दोनों ही राजी भी हैं। दरअसल बीजेपी और राहुल गांधी का खेमे ने गुजरात में चुनाव की तारीख टालने की मांग की है।

गुजरात में चुनाव

गुजरात में चुनाव 9 दिसंबर और 14 दिसंबर को होना है। बीजेपी और कांग्रेस ने शादियों का कारण देकर चुनाव की तारीखों को टालने की मांग की है। कारण सहालग का दिया गया है। कहा गया है कि लोग इन दो दिनों में लोग शादियों के कारण इतने व्यस्त हैं कि वो वोट डालने नहीं जाएंगे। ऐसे में अगर वोटिंग हो रही हो, तो आदमी वोट देने जाने की बजाय अपना काम करना चाहता है।

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ऐसे में चुनाव आयोग से मांग की है कि वोटिंग की तारीख आगे बढ़ा दी जाए, जिससे कि वो शादियां निपटाकर वोट देने जा सकें।

एक अनुमान के मुताबिक गुजरात में नवंबर और दिसंबर महीने में 25 हजार से ज्यादा शादियां हैं। अगर एक शादी में 100 मेहमान भी होते हैं, तो तकरीबन 25,00,000 लोग वोटिंग की वजह से प्रभावित हो रहे हैं।

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टीएनएन की रिपोर्ट के मुताबिक, गुजरात के लोग टूरिस्ट डेस्टिनेशन पर जाकर शादियां करते हैं, जो चार से पांच दिन तक चलती हैं। शादी की सभी रस्में वहीं निभाई जाती हैं। ऐसे में लोग शादियों में व्यस्त रहेंगे और चुनाव में वोट नहीं डाल पाएंगे।

पंडितों के मुताबिक दिसंबर में 4, 5 और 10 दिसंबर को शादियों का मुहुर्त है। इन तीन दिनों में सबसे ज्यादा शादियां होनी हैं। ऐसे में लोगों में वोट डालने का रुझान कम ही होगा।

बीजेपी और कांग्रेस भी इस बात को समझ रही है, इसलिए दोनों पार्टियां इस एक मुद्दे पर एक राय हैं। दोनों ने ही चुनाव आयोग से अपील की है कि शादियों की तारीख आगे बढ़ा दी जाए। हालांकि चुनाव आयोग ने इस पर कोई प्रतिक्रिया नहीं दी है।

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