25 मई 2025 को नई दिल्ली के अशोक होटल में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) के मुख्यमंत्रियों और उपमुख्यमंत्रियों की एक उच्च स्तरीय बैठक आयोजित हुई।

भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) द्वारा आयोजित इस दिनभर के सम्मेलन में लगभग 19 मुख्यमंत्रियों और उतने ही उपमुख्यमंत्रियों ने हिस्सा लिया, जिसमें केंद्रीय मंत्री राजनाथ सिंह, अमित शाह और भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा भी शामिल थे। बैठक में ऑपरेशन सिंदूर, जातीय जनगणना, सुशासन और एनडीए शासित राज्यों में सर्वोत्तम प्रथाओं पर चर्चा हुई।
ऑपरेशन सिंदूर पर प्रस्ताव
बैठक में एक प्रस्ताव पारित किया गया, जिसमें सशस्त्र बलों के साहस और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के निर्णायक नेतृत्व की सराहना की गई। महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री और शिवसेना नेता एकनाथ शिंदे द्वारा प्रस्तावित इस प्रस्ताव में कहा गया कि ऑपरेशन सिंदूर ने भारतीय जनता के मनोबल और आत्मविश्वास को अभूतपूर्व रूप से बढ़ाया है। शिंदे ने कहा, “ऑपरेशन सिंदूर ने यह साबित कर दिया कि ‘जो हमसे टकराएगा, वह चूर-चूर हो जाएगा’ केवल एक कहावत नहीं, बल्कि वास्तविकता है।” उन्होंने पीएम मोदी की प्रशंसा करते हुए कहा, “140 करोड़ भारतीयों को आप पर गर्व है। यह हमारा सौभाग्य है कि हमारे पास आप जैसे साहसी और निस्वार्थ देशभक्त नेता हैं।”
प्रस्ताव में उल्लेख किया गया कि पीएम मोदी ने हमेशा सशस्त्र बलों का समर्थन किया है, और ऑपरेशन सिंदूर ने आतंकवादियों और उनके प्रायोजकों को करारा जवाब दिया है। यह ऑपरेशन 22 अप्रैल 2025 को पहलगाम आतंकी हमले के जवाब में 7 मई को शुरू किया गया था, जिसमें पाकिस्तान और PoK में नौ आतंकी ठिकानों को नष्ट कर 100 से अधिक आतंकवादियों को मार गिराया गया था।
बैठक के अन्य एजेंडा
- जातीय जनगणना: बैठक में अगली राष्ट्रीय जनगणना में जातीय गणना को शामिल करने के केंद्र सरकार के फैसले की सराहना करते हुए एक और प्रस्ताव पारित किया गया। यह कदम सामाजिक न्याय की दिशा में महत्वपूर्ण माना जा रहा है, और एनडीए ने इसे कांग्रेस और उसके सहयोगियों की पिछली “विश्वासघात” नीतियों के विपरीत बताया।
- सुशासन और सर्वोत्तम प्रथाएं: कई मुख्यमंत्रियों ने अपने राज्यों की प्रमुख योजनाओं पर प्रस्तुतियां दीं, जिनमें गुजरात, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश और ओडिशा जैसे राज्यों की पहल शामिल थीं। इन प्रस्तुतियों का उद्देश्य एनडीए शासित राज्यों में सुशासन मॉडल को साझा करना और एकरूपता लाना था।
- मोदी सरकार की तीसरी पारी का पहला वर्ष: बैठक में मोदी सरकार के तीसरे कार्यकाल की पहली वर्षगांठ, अंतरराष्ट्रीय योग दिवस की 10वीं वर्षगांठ और आपातकाल की 50वीं वर्षगांठ जैसे राष्ट्रीय मील के पत्थर पर चर्चा हुई।
- पहलगाम हमले के शहीदों को श्रद्धांजलि: नेताओं ने 22 अप्रैल 2025 को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले में मारे गए 26 लोगों को श्रद्धांजलि दी, जिसने ऑपरेशन सिंदूर को प्रेरित किया।
प्रमुख उपस्थितियां
बैठक में महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस, मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव, ओडिशा के मुख्यमंत्री मोहन चरण माझी, बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, नागालैंड के मुख्यमंत्री नेफियू रियो, उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, और आंध्र प्रदेश के डिप्टी सीएम पवन कल्याण सहित कई प्रमुख नेता शामिल थे।
ऑपरेशन सिंदूर भारत की आतंकवाद विरोधी नीति में एक नए युग की शुरुआत है। पीएम मोदी ने 12 मई 2025 को राष्ट्र के नाम अपने संबोधन में कहा था कि ऑपरेशन सिंदूर ने आतंकवाद के खिलाफ “नया सामान्य” स्थापित किया है, और भारत अब आतंकियों और उनके प्रायोजक सरकारों के बीच कोई अंतर नहीं करेगा। उन्होंने पाकिस्तान को चेतावनी दी थी कि “आतंक और बातचीत, आतंक और व्यापार एक साथ नहीं चल सकते।” यह बैठक ऑपरेशन सिंदूर के बाद एनडीए की एकजुटता और राष्ट्रीय सुरक्षा पर कठोर रुख को प्रदर्शित करने का एक मंच थी।
कांग्रेस ने इस बैठक को “राजनीतिक लाभ” लेने का प्रयास करार देते हुए विशेष संसद सत्र बुलाने की मांग की थी, लेकिन यह भी कहा कि वह राष्ट्रीय हित में ऑपरेशन सिंदूर का समर्थन करती है।