‘विश्व कप’ में बलिदान से लेकर फिक्सिंग तक, ये हैं धोनी के कैरियर के सबसे बड़े विवाद

महेंद्र सिंह धोनी, यह नाम जब आपके दिमाग में आता है, तो क्रिकेट कप्तान और छक्के के अलावा जो तस्वीर घूमती है, वह है उनका शांत स्वभाव। मैदान पर भी और मैदान के बाहर भी। मैदान पर तो वह इतने शांत रहते हैं कि मानों अपने हेलमेट के नीचे बर्फ का टुकड़ा दबा कर आए हो। धोनी को लेकर बेहद कम ही विवाद होते हैं, हालांकि खेल के लिए उनकी आलोचना होती रहती है पर ऐसे कम ही विवाद हैं जिसको लेकर धोनी चर्चा में रहे हैं।

2013 के आईपीएल में महेंद्र सिंह धोनी पर यह आरोप लगा कि धोनी “मैच फिक्सिंग” में शामिल थे। इसके बाद यह पता चला था कि धोनी की एक कंपनी में 15% हिस्सेदारी है जिसका नाम रिति स्पोर्ट्स है। इसमे सुरेश रैना और रवींद्र जडेजा भी शामिल थे।

Mahendra-Singh-Dhoni

यह कहा गया कि धोनी ने इन दोनों का पक्ष लिया क्योंकि दोनों जितने अधिक मैच खेलते, उतने ज्यादा पैसा इस कंपनी में लगाते। माना गया की धोनी समेत रैना और जडेजा ने बीसीसीआई के मानदंडों का उल्लंघन किया है, लेकिन पूरा मामला गायब हो गया और धोनी टीम के कप्तान बने रहे।

भारत बनाम बांग्लादेश के बीच एकदिवसीय श्रृंखला खेली जा रही थी। सीरीज के एक मैच में धोनी ने बांग्लादेशी गेंदबाज मुस्तफिजुर रहमान को धक्का मार दिया।

दरअसल, भारतीय पारी के दौरान जब धोनी विकेटों के बीच दौड़कर रन ले रहे थे, तब रहमान उनके रास्ते में आ रहे थे। रहमान जानबूझकर लगातार ऐसा कर रहे थे।

रोहित ने भी उन्हें चेताया था, लेकिन रहमान नहीं माने। हमेशा शांत रहने वाले धोनी ने रास्ते में आ रहे रहमान को तगड़ी कोहन मारी थी। जिसके बाद  रहमान हिल गए थे और उन्हें मैदान से बाहर ले जाना पड़ा था।

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विश्व कप 2019 में धोनी ने सेना के बलिदान बैज को अपने विकेटकीपिंग ग्लव्स पर लगाकर एक अनोखे विवाद को जन्म दे दिया। धोनी ने दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ मैच में अपने कीपींग ग्लव्स पर पैरामिलिट्री फोर्स का लोगों के लगाया था।

जिसको लेकर विवाद इतना बढ़ा कि आईसीसी और बीसीसीआई आमने सामने आ गईं। बाद में आईसीसी के नियमों के तहत धोनी को इस बैज का मैदान पर इस्तेमाल करने से मना कर दिया गया। धोनी भी अगले मैच में अपने ग्लव्स से बैज का निशान हटाकर मैदान पर उतरे।

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